प्रयागराज ब्यूरो ।समस्याओं से जूझ रहे नाइट मार्केट के व्यापारियों के सपोर्ट में अब आजाद स्ट्रीट वेंडर यूनियन खड़ा हो गया है। उधर, बुलाने के बावजूद शुक्रवार को दफ्तर में अफसरों के नहीं मिलने से नाराज व्यापारियों ने नगर निगम परिसर में प्रदर्शन किया। अधिकारियों पर इंसाफ नहीं करने का आरोप लगाते हुए व्यापारियों ने कहा कि उनके साथ टाल-मटोल का खेल खोला जा रहा है। धीरे-धीरे आज दस पंद्रह दिन बीच गए हैं, पूरी समस्या बताने के बावजूद अधिकारी आज तक किसी निष्कर्ष पर नहीं पहुंच सके। शक जताते हुए व्यापारियों ने कहा कि लग रहा है नगर निगम के अधिकारी भी नाइट मार्केट संचालकों के दबाव में आ गए हैं। यही वजह है कि हम गरीबों की आवाज को वह अनसुनी कर रही रहे हैं।
कई दिनों से लगा रहे इंसाफ की हाक
सिविल लाइंस कंपनी बाग गेट नंबर एक के सामने स्थित नाइट मार्केट के व्यापारियों द्वारा मार्केट संचालाकों पर गंभीर आरोप लगाए गए हैं.्र शुरु से ही व्यापारी उन पर मनमाना किराया वसूलने व लिए गए दुकान के किराए आदि की रसीद नहीं देने जैसे आरोप शामिल हैं। इन आरोपों व समस्याओं से निजात पाने के लिए दर्जनों व्यापारी पिछले कई दिनों से संघर्ष कर रहे हैं। सांसद से लेकर नगर आयुक्त तक की गई शिकायत के बाद उन्हें शुक्रवार को अफसरों द्वारा बुलाया गया था। नगर निगम पहुंचे व्यापारियों को घंटों इंतजार कराने के बावजूद अफसर दफ्तर में नहीं मिले। इससे नाराज व्यापारियों के द्वारा नगर निगम परिसर में विरोध प्रदर्शन किया गया।
किए गए टेंडर पर उठा बड़ा सवाल
परेशान व्यापारियों की समस्या व मुसीबत को देखते हुए उनके इस इंसाफ की जंग में खड़े हुए आजाद स्ट्रीट वेंडर यूनियन ने बड़ा सवाल उठाया है।
यूनियन के प्रदेश महामंत्री ने नाइट मार्केट के टेंडर पर ही सवाल खड़ा कर दिया है। उन्होंने कहा कि इस टेंडर जीविका संरक्षण और पथ विक्रय विनियम अधिनियम एक्ट 2014 व सुप्रीक कोर्ट के निर्देशों के विपरीत किया गया है।
एक्ट की धारा 36 के अधीन 10 मई 2017 को अधिसूचना जारी की गई थी। जिसमें स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि टाउन वेंडिंग कमेटी यूपी राज्य योजना 2016 की धारा 3 (4) ऐसे निर्णय लेने का अधिकार केवल टीवीसी कमेटी के पास है।
यह कमेटी ही रात्रि बाजार नाइट मार्केट, साप्ताहिक बाजार, सीजनल मार्केट, त्योहारी बाजार, वेंडिंग जोन या इस तरह के अन्य बाजार की घोषणा कर सकती है। सवाल उठाते हुए उन्होंने कहा कि स्मार्ट सिटी एक प्राइवेट फर्म है।
वह इस तरह के टेंडर या टेंडर की सर्तों का निर्धारण कैसे कर सकती है। उन्होंने कहा कि नाइट मार्केट के व्यापारियों की समस्याओं का समाधान नहीं हुआ तो वह इंसाफ के लिए यूनियन हाईकोर्ट की शरण में जाने के लिए मजबूर होगी।
नाइट मार्केट का टेंडर नियमों को ताक पर रखकर किया गया है। सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों व गाइड लाइन के विपरीत टेंडर है। व्यापारियों की समस्या का समाधान नहीं हुआ तो मामले को लेकर इंसाफ के लिए हाईकोर्ट जाएंगे।
रविशंकर द्विवेदी, प्रदेश महामंत्री आजाद स्ट्रीट वेंडर यूनियन/सदस्य टीवीसी