कछारी इलाकों में हालत नाजुक, बार-बार गंगा का जलस्तर बढ़ने दहशत में लोग

कई घरों में छत पर लोगों ने डाला डेरा तो कुछ रिश्तेदारों के यहां पहुचे

ALLAHABAD: कछारी इलाकों में गंगा के बढ़े जलस्तर ने लोगों को दहशत में जीने को मजबूर कर दिया है। जिनके घरों के आसपास बाढ़ का पानी पहुंच गया है उनकी रातों की नींद गायब हो गई। कई लोगों ने अपना सामान पैक कर लिया है और घर में पानी घुसते ही पलायन कर जाएंगे।

रिश्तेदारी पहुंच गए मिश्राजी

छोटा बघाड़ा के कछार में रहने वाले विकास मिश्रा अपने परिवार के साथ दो दिन पहले अल्लापुर स्थित रिश्तेदार के घर चले गए। किराएदार घर की रखवाली कर रहे हैं। उनका सामान भी पैक है। पानी घर के भीतर घुसा तो वह भी कहीं और पलायन कर जाएंगे।

कमर तक पानी से होकर पहुंच रहे

कछार में बने दर्जनों घरों में पानी भर गया है। यहां पर रहने वाले लोग या तो दूसरी मंजिल या छत पर रहने पर मजबूर हैं। स्थानीय निवासी दानिश का कहना है कि तीन बार गंगा का जलस्तर बढ़ चुका है। पता नही कब घर बाढ़ की चपेट में आ जाएगा। चोरी के डर से घर छोड़ने की हिम्मत भी नही हो रही है।

जलस्तर में कमी, टेंशन में नही

गंगा के जलस्तर में बार-बार वृद्धि से लोगों की टेंशन कम होने का नाम नही ले रही है। बुधवार को गंगा में पांच सेमी की कमी दर्ज की गई। यमुना का जलस्तर भी दस सेमी कम हुआ। बावजूद इसके लोगों की दहशत कम नही हुई। पहाड़ों पर लगातार हो रही बारिश की वजह से डैम से पानी छोड़ने का सिलसिला बना हुआ है जिसकी वजह से परेशानी कम होने का नाम नही ले रही है।

नदियों का जलस्तर

खतरे का निशान- 84.73 मीटर

फाफामऊ- 83.05 मीटर

जलस्तर में कमी- 5 सेमी

छतनाग- 83.05 मीटर

जलस्तर में कमी- 6 सेमी

नैनी- 82.80 मीटर

जलस्तर में कमी- 10 सेमी

आज सुबह से थोड़ी राहत है। पानी कम हुआ है वरना तेजी से बढ़ रहा था। बहुत से लोग अपना घर छोड़कर आसपास के घरों में शिफ्ट हो गए हैं। कुछ लोग रिश्तेदारों के यहां चले गए हैं।

विकास

हमलोग भी जलस्तर पर नजर रखे हुए हैं। अगर घर में घुसेगा तो ऊपर की मंजिल में रहने की व्यवस्था की जाएगी। अधिक बढ़ा तो हम अपने घर चले जाएंगे।

रजत

जब तक स्थिति अधिक भयावह नही हो जाती लोग अपना घर छोड़क रनही जाते। कई बार चोरी का डर बना रहता है। अधिक मात्रा में पानी बढ़ने से परेशानी का सामना करना पड़ता है।

बबलू

अभी तक गंगा के पानी ने अधिक रौद्र रूप धारण नही किया है। उम्मीद है कि इससे अधिक पानी नही बढ़ेगा। हमलोग किराए पर रहते हैं और अधिक दिक्तत होने पर अपने घर चले जाएंगे।

आदित्य

सामान लेकर शेल्टर जा रहे हैं। परिवार में चार लोग हैं। वहां कोई व्यवस्था नही है इसलिए खाना बनाने का सामना भी ले जाना होगा।

मीना