सरायइनायत थाना क्षेत्र के दो अलग-अलग गांवों में युवकों ने फांसी लगा कर दी जान

एक गरीबी भरी जिंदगी तो दूसरा पत्‍‌नी के बेटे संग मायके चले जाने से था नाराज

ALLAHABAD: एक युवक के लिए गरीबी में झंझावत भरी जिंदगी तो दूसरे के लिए पारिवारिक कलह फांसी का फंदा बन गई। सरायइनायत थाना क्षेत्र के अलग-अलग गांव निवासी दोनों युवकों ने फांसी लगा कर जान दे दी। उनके मौत की जानकारी होते ही परिजनों में कोहराम मच गया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने दोनों के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।

सीहीपुर में लगाई फांसी

सीहीपुर गांव निवासी स्व। अमरनाथ के दो पुत्र हैं। इनमें अनिल कुमार (24) बड़ा था। मेहनत मजदूरी करके वह परिवार चलाता था। बताते हैं कि 20 दिन पहले उसकी पत्‍‌नी गीता चार माह के पुत्र छोटू को लेकर मायके अकबरपुर उतरांव चली गई थी। पत्‍‌नी के मायके चले जाने के बाद वह गुमसुम रहने लगा था। मंगलवार की रात खाना खाने के बाद वह अपने कमरे में सोने चला गया। सुबह वह देर तक कमरे से बाहर नहीं आया तो परिजन रोशनदान से अंदर झांककर देखे तो छत में लगे पंखे के हुक में साड़ी के सहारे उसका शव लटक रहा था। यह देख परिजन दहाड़ मार कर रो पड़े। खबर मिलते ही उसकी पत्‍‌नी गीता भी चार माह के बेटे के साथ रोते-बिलखते घर पहुंची।

कसेरुआकला में रहा कोहराम

दूसरी घटना भी सरायइनायत के ही कसेरुआकला गांव की है। गांव निवासी शिव कुमार (24) पुत्र चंद्रन ने घर के पीछे अर्धनिर्मित स्कूल में मंगलवार की रात फांसी लगा कर खुदकुशी कर ली। सुबह पांच बजे शौच से लौटते समय उसके पिता पुत्र शिव कुमार की लटक रही लाश को देख चीख पड़ा। मेहनत मजदूरी करके मृतक परिवार चलाने में पिता की आर्थिक मदद किया करता था। बताते हैं कि गरीबी में झंझावत भरी जिंदगी से वह तंग आ चुका था। दोनों गांवों में सूचना पर पहुंचे सरायइनायत थाने के प्रभारी संजय कुमार सिंह दोनों के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।