बरेली (ब्यूरो)। विकास प्राधिकरण की आधुनिक सुविधाओं से युक्त ग्रेटर बरेली कालोनी बसाने की कवायद तेज हो गई है। 240 हेक्टेयर क्षेत्रफल में बसाई जाने वाली इस कालोनी के लिए भूमि अधिग्रहण की फाइल जिलाधिकारी के यहां पहुंच गई है। अब बीडीए ने 23 नवंबर तक कालोनी को विकसित करने से पहले डीपीआर बनाने के लिए टेंडर आमंत्रित किया है।

डीएम के पास पहुंची फाइल
रामगंगा नगर आवासीय योजना के सफल होने के बाद बीडीए (बरेली विकास प्राधिकरण) ग्रेटर बरेली कालोनी को धरातल पर उतारने जा रहा है। छह गांव के करीब एक हजार से किसानों से अधिग्रहीत की जा रही भूमि के लिए सर्किल रेट से चार गुना अधिक मुआवजे का एलान किया गया है। 95 प्रतिशत से अधिक किसानों की सहमति मिलने के बाद दर निर्धारण की फाइल जिलाधिकारी तक पहुंच गई है। बीडीए के अधिकारियों के अनुसार भूमि अधिग्रहण का काम कभी भी शुरू किया जा सकता है। कालोनी को बसाने से पहले उसकी विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) बनाई जाएगी। इसके लिए 23 नंवबर तक टेंडर आमंत्रित किए गए हैं। 240 हेक्टेयर भूमि पर हाइटेक सुविधाओं वाले कालोनी के लिए जिलाधिकारी शिवाकांत द्विवेदी की अध्यक्षता में बीते माह बीडीए अफसरों ने बैठक कर सर्किल रेट से चार गुना अधिक मूल्य तय किया था।

कालोनी में होंगी ये सुविधाएं
बीडीए के अधिशासी अभियंता आशु मित्तल ने बताया कि ग्रेटर बरेली कालोनी बसाने में करीब 1200 करोड़ रूपये भूमि अधिग्रहण और 800 करोड़ रूपये कालोनी विकसित करने में खर्च किया जाएगा। कालोनी के अंदर सिनेमा हाल, स्विङ्क्षमग पूल, पाकच्, उच्चस्तरीय सुविधाओं वाला अस्पताल, खेल मैदान और रूहेलखंड के इतिहास को जीवंत रखने के लिए संग्रहालय भी बनाया जाएगा।

वर्जन
ग्रेटर बरेली कालोनी को विकसित करने से पहले डीपीआर तैयार किया जाएगा। इसके लिए आवेदन मांगे गए हैं। इस कालोनी से न सिर्फ शहरवाासियों को सुविधाएं मिलेंगी बल्कि रोजगार सृजन भी होगा।
योगेंद्र कुमार, सचिव, बरेली विकास प्राधिकरण