- नवाबगंज के जरैली गांव में खूनी संघर्ष के बाद रविवार को भी तनाव में रहा माहौल, तैनात रही पुलिस

- पोस्टमार्टम से शव पहुंचे तो मचा कोहराम, संगीनों के साये में शव किए गए सुपुर्द-ए-खाक

बरेली : जिले के नवाबगंज थाना क्षेत्र के गांव जरैली में खूनी संघर्ष के बाद रविवार को दूसरे दिन गांव में मातमी सन्नाटा छाया रहा। दोपहर बाद जब पोस्टमार्टम के बाद दोनों भाईयों के शव घर पहुंचे तो कोहराम मच गया। स्वजनों का रो रोकर बुरा हाल था। गांव में तनाव को देखते हुए पुलिस और पीएसी तैनात थी। पुलिस ने अपनी मौजूदगी में ही दोनों भाईयों के शव को सुपुर्द-ए-खाक कराया। वहीं पुलिस 48 घंटे बाद तक आरोपितों की गिरफ्तारी को दबिश देती रही, लेकिन किसी को पकड़ नहीं सकी।

पंचायत में हुआ था विवाद

जरैली गांव में शनिवार को हैदर अली की बेटी नन्हीं बानो और जकी हैदर के पुत्र अजहर अली के बीच समझौता कराने के लिए पंचायत बैठी थी। पूर्व प्रधान बाबू अली के यहां पंचायत चल रही थी, इसी दौरान अजहर ने अपने ससुर हैदर अली को गाली गलौज करने लगा। इस पर पूर्व प्रधान ने पंचायत खत्म कर दोनों पक्षों को घर जाने को कहा दिया। दोनों पक्षों को अलग अलग दरवाजे से बाहर निकाला। लेकिन कुछ ही देरी पर घर होने के चलते वह फिर आमने सामने आ गए और अजहर पक्ष ने ताबड़तोड़ फाय¨रग कर दी। इससे नन्हीं के पिता हैदर अली और चाचा गुलशन अली की मौत हो गयी थी। जबकि गोली व छर्रे लगने से दर्जन भर लोग घायल हो गए थे। इस मामले में मृतक हैदर अली के पुत्र गुलाब हैदर ने अजहर अली, मंजर अली, कलीम हैदर, हकी हैदर, सरबर अली, जैकी, जरी हैदर व चांद बाबू के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था।

सर्विलांस पर लगाए नंबर

नवाबगंज पुलिस ने देर रात में ही आरोपित पक्ष के करीब दस लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी थी। पुलिस ने सभी आरोपितों के नंबर सर्विलांस पर लगाकर उनकी लोकेशन निकाल कर दबिश देना शुरू किया। रविवार तक पुलिस की तीन टीमें अलग अलग स्थानों पर दबिश देती रहीं, लेकिन हत्यारोपित 48 घंटे बाद तक हत्थे नहीं चढ़े। पुलिस आरोपितों की तलाश में पीलीभीत, बीसलपुर, बिलसंडा, फरीदपुर, बहेड़ी व शहर में रहने वाले कुछ रिश्तेदारों के यहां भी गई, लेकिन कोई नहीं मिला।

डेढ़ साल की बेटी कहां पता नहीं

नन्ही और अजहर की डेढ़ साल की बेटी कहां है, इसके बारे में किसी को कोई जानकारी नहीं है। बताते हैं कि शनिवार को बेटी को लेकर ही झगड़ा हुआ था। इसके बाद डेढ़ साल की बेटी को अजहर ने गांव में ही रहने वाले अपने बहनोई कलीम हैदर के घर भेज दिया था। इसके बाद पंचायत हुई और गोलीबारी हो गई। इसके बाद कलीम और उसका परिवार फरार है। लोगों ने बताया कि नन्हीं की बेटी उन्हीं के साथ है। लेकिन कोई पुख्ता नहीं बता रहा कि वह कहां है। पुलिस भी बेटी के कलीम हैदर के स्वजनों के साथ होने का अंदेशा जता रही है।

दोहरे हत्याकांड के आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए तीन टीमें लगातार काम कर रही हैं। कुछ आरोपितों की लोकेशन के आधार पर टीमें गईं, लेकिन वह नहीं मिले। आठ-दस लोग हिरासत में है, उनसे पूछताछ के आधार पर दबिशें जारी है। प्रयास है कि जल्द ही सभी आरोपितों की गिरफ्तारी की जा सके।

- राज कुमार अग्रवाल, एसपी देहात