- सोमवार को हुए गैंगवार में दोनों तरफ से 15-15 से अधिक युवकों को पुलिस ने किया चिहिन्त

- नामजद आरोपी सहित कई हिरासत में, पुलिस की अलग-अलग टीमें कर रही हैं पूछताछ

- पुलिस कर्मचारियों, नेताओं और अन्य बड़े घरों से जुड़े युवकों की हरकत से सनसनी

GORAKHPUR: कैंट एरिया में उभरते प्रॉपर्टी डीलरों की गुटबाजी में हुई मारपीट और फायरिंग, जानलेवा हमले की घटना ने पुलिस की टेंशन बढ़ा दी है। आरोपियों और दोनों गुटों में शामिल मनबढ़ों की तलाश में मंगलवार की सुबह आठ बजे तक पुलिस की अलग-अलग टीमें दौड़भाग करती रहीं। नामजद एक आरोपी सहित 20 से अधिक युवकों को पुलिस ने हिरासत में लेकर पूछताछ की। तब सामने आया कि दोनों गुटों में 12 से 15 मनबढ़ युवक शामिल हैं। उनके बीच आपस में वर्चस्व को लेकर रंजिश चल रही। मंगलवार को एसएसपी, एसपी सिटी, एएसपी, सीओ कैंट, सीओ कोतवाली सहित अन्य पुलिस अधिकारियों ने कैंट थाना पहुंचकर मामले की जानकारी ली। पकड़े युवकों से पूछताछ करके घटना की वजह, दोनों तरफ से शामिल युवकों सहित अन्य बिंदुओं पर जानकारी ली। सरेआम सड़क पर मारपीट और गोली चलाने वाले मनबढ़ों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का संकेत सीनियर पुलिस अधिकारियों ने दिया है। हिरासत में लिए युवकों के परिजन दिनभर जहां-तहां थानों के चक्कर लगाते हुए अपने बच्चों को निर्दोष बताते रहे।

सात राउंड चली थी गोली

सोमवार की दोपहर करीब दो बजकर 10 मिनट पर सिघडि़यां, विशुनपुरवा मोड़ के पास एक कार को घेरकर बाइक सवार मनबढ़ों ने फायरिंग की। कार सवारों ने भी अपने बचाव में गोली चलाई। कुछ सात राउंड गोली चलने से आसपास दहशत फैल गई। इस दौरान कार सवारों की मदद में कुछ अन्य बाइक वाले युवक आ गए तो मनबढ़ भागने लगे। तीन बाइक पर बैठे युवक आवास विकास कालोनी की ओर मुड़ गए। एक स्कूटर पर सवार जितेंद्र यादव और उसके साथी का पीछा कार सवारों ने कर लिया। मोहद्दीपुर में आरकेबीके के समीप स्कूटी टकराकर गिर गई। सड़क पर भाग रहे जितेंद्र यादव को पीटकर कुछ लोगों ने गोली मार दी।

दो नामजद और अज्ञात के खिलाफ मुकदमा

दोनों जगहों पर 10 राउंड गोली चलने की सूचना पर पुलिस अधिकारी पहुंचे। घायल जितेंद्र ने पुलिस को बताया कि प्रज्जवल सिंह और उसके साथ मौजूद शुमम सिंह सिघाड़ा ने गोली चलाई है। इस मामले में जितेंद्र के साथी बांसगांव के जयंतीपुर निवासी प्रवीण राय की तहरीर पर पुलिस ने शुभम सिंह सिघाड़ा और प्रज्जवल सिंह और अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया। सोमवार को फायरिंग के पहले इंजीनियरिंग कॉलेज के पास एक हुक्का बार में दोनों गुटों के बीच विवाद हुआ। इसके पहले रविवार को पैडलेगंज के हुक्का बार में मारपीट होने पर समझौता करके दोनों पक्ष घर चले गए थे।

एक नामजद, दरोगा के बेटे सहित हिरासत में 10

घटना में सामने आया कि शुभम सिंह सिघाड़ा और शुभम राव के बीच गुटबाजी चलती है। दोनों के साथ 15 से 20 मनबढ़ युवकों की टीम रहती है। पुलिस ने दोनों पक्षों के 12 से अधिक लोगों को चिन्हित किया है। कार सवार और बाइक सवार युवकों की जानकारी लेकर पुलिस की टीम मंगलवार की सुबह आठ बजे छापेमारी करती रही। कुशीनगर में तैनात दरोगा के बेटे, नामजद एक आरोपित सहित 10 युवकों को पुलिस ने हिरासत में लिया था। सिघडि़या में दरोगा के नाम से रजिस्टर्ड बाइक मिली थी। जबकि शुभम सिंह सिघाड़ा के साथ देवरिया में तैनात सिपाही के बेटे सुनील सहित अन्य का नाम आया है। पुलिस सभी की तलाश में जुटी है। मंगलवार को अपने बेटे को बेकसूर बताते हुए दरोगा इंजीनियरिंग कॉलेज चौकी पर खड़ी बाइक लेने थाने पहुंचे थे।

कॉलोनी में 20 से अधिक मनबढ़ों का गुट

पुलिस की छानबीन में पता लगा है कि सूबा बाजार से लेकर कूड़ाघाट के बीच तक इन मनबढ़ों का वर्चस्व है। आवास विकास कालोनी में रहने वाले युवक अलग-अलग गुटों से जुड़े हुए हैं। एक छात्रनेता, टीचर और कुछ पुलिस कर्मचारियों का संरक्षण पाने वाले इन युवकों के डर से कालोनी के लोग विरोध नहीं जताते। रविवार की शाम को शुभम ने भगत चौराहा, हनुमान मंदिर के पास अपने गुट के लड़कों के साथ मीटिंग की थी। इसके बाद से दोनों पक्षों में लगातार विवाद चल रहा है। रविवार को हुई मारपीट के बाद कैरियर बर्बाद होने का हवाला देकर बिचौलियों ने सुलह-सपाटा कराकर मामला शांत करा दिया था। कहा जा रहा है कि यदि पुलिस ने सख्ती बरती होती तो सोमवार की घटना टल जाती।