- हॉस्टल खाली करने से स्टूडेंट्स का इनकार, वीसी से मिलने की मांग को लेकर आवास का घेराव

GORAKHPUR: गोरखपुर यूनिवर्सिटी में हॉस्टल खाली कराने का विरोध काफी तेज हो गया है। इसके विरोध में यूनिवर्सिटी के हॉस्टलर्स शनिवार सुबह से देर रात तक नारेबाजी के साथ प्रदर्शन करते रहे। लेकिन यूनिवर्सिटी प्रशासन के जिम्मेदार समस्या का समाधान करने के बजाय ऑफिस में बैठे रहे। हॉस्टल खाली कराए जाने के विरोध में छात्रों ने वीसी आवास पर घंटो प्रोटेस्ट किया। वीसी के बाहर न निकलने पर देर शाम छात्र अर्धनग्न होकर प्रदर्शन करते रहे। छात्रों को समझाने के लिए टीचर्स ने चार बार कोशिश की, लेकिन वे नाकाम रहे। छात्र वीसी से मुलाकात पर अड़े रहे।

यूनिवर्सिटी ने जारी कर दी नोटिस

यूनिवर्सिटी ने पिछले दिनों हॉस्टल खाली कराने के लिए स्टूडेंट्स को नोटिस थमा दी है। यूनिवर्सिटी प्रशासन हॉस्टल खाली कराकर इसे री-अलॉट करना चाहता है, जबकि सेमेस्टर व दूसरे एग्जाम देने वाले छात्र हॉस्टल खाली करना नहीं चाहते। छात्र मौखिक परीक्षा और आगामी दो जनवरी से शुरू होने वाली ऑफलाइन क्लास का हवाला दे रहे हैं। इस मुद्दे को लेकर यूनिवर्सिटी और छात्रों के बीच पिछले 10 दिन से समस्या का समाधान नहीं हो सका है। शुक्रवार को विश्वविद्यालय प्रशासन ने एक और नोटिस जारी कर दी। जिसमें हॉस्टल पर काबिज छात्रों की सूची तैयार करने का निर्देश दिया गया है।

कार्रवाई की बात पर भड़के छात्र

जैसे छात्रों को भनक लगी की उन्हें निलंबित किया जा सकता है, इसको देखते हुए वह उग्र हो गए। शनिवार को सुबह से छात्र एकजुट होने लगे। छात्रों ने सबसे पहले विवेकानंद छात्रावास में मीटिंग की। इसके बाद कबीर, एनसी और बुद्धा हॉस्टल के भी छात्र इसमें शामिल हो गए। जुलूस की शक्ल में सुबह 11 बजे विश्वविद्यालय के प्रशासनिक भवन पहुंचे। यहां पर जमकर नारेबाजी की। प्रशासनिक भवन पर कोई शिक्षक या अधिकारी छात्रों से मिलने नहीं पहुंचा।

दो घंटे बाद पहुंचे वीसी आवास

प्रशासनिक भवन पर उपेक्षा से छात्रों का गुस्सा भड़क गया। छात्रों ने कुलपति आवास पर प्रदर्शन का फैसला किया। दोपहर एक बजे छात्रों का हुजूम कुलपति आवास पहुंचा। वीसी आवास के भीतर वीसी मौजूद रहे, लेकिन छात्रों से मिलने के लिए वह बाहर नहीं आए। वहीं भनक लगते ही चीफ प्रॉक्टर, डीएसडब्लू और दूसरे शिक्षक कुलपति आवास पहुंचे। छात्र कुलपति आवास के गेट पर प्रदर्शन करने लगे, प्रदर्शन देर शाम तक जारी रहा।

छात्रों को समझाने में फेल हो गए शिक्षक

चीफ प्रॉक्टर की अगुवाई में करीब चार दौर की वार्ता भी हुई, लेकिन सब बेनतीजा निकली। इस दौरान छात्र सिर्फ वीसी से मुलाकात की मांग पर अड़े रहे। उधर चीफ प्रॉक्टर ने तीन सदस्यीय समिति बनाकर आवंटन करने का प्रस्ताव दिया। छात्रों को आवंटन में तरजीह की भी पेशकश की। इसे भी छात्रों ने खारिज कर दिया।

देर शाम तक किया अर्धनग्न प्रदर्शन

करीब साढ़े पांच घंटे आवास पर प्रदर्शन केबाद जब वीसी छात्रों से मिलने बाहर नहीं निकले तब छात्रों ने अपने आंदोलन के रूप में तब्दील हो गई। शाम 6.30 बजे से छात्र अर्धनग्न प्रदर्शन करने लगे। कड़ाके की ठंड में छात्रों के अर्धनग्न प्रदर्शन को देख पुलिस और शिक्षक हैरान हो गए। देर शाम तक छात्रों का प्रदर्शन जारी रहा। इस दौरान शिक्षक व पुलिस फोर्स आवास के बाहर तैनात कर दिया गया है।

बॉक्स -

यूनिवर्सिटी ने बनाई पांच सदस्यीय कमेटी

छात्रवासों को खाली कराने सम्बन्धी समस्या के समाधान के लिए यूनिवर्सिटी प्रशासन ने एक पांच सदस्यीय समिति गठित की है। पीआरओ डॉ। महेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि इसकी संयोजक डीन आ‌र्ट्स प्रो। नंदिता सिंह को बनाया गया है। इसके साथ ही डीन लॉ प्रो चंद्रशेखर, चीफ प्रॉक्टर प्रो सतीश पांडेय, डीएसडब्लयू प्रो अजय सिंह और प्रो विनीता पाठक इसके मेंबर हैं। यह समिति छात्रों से उनके वार्डेन की मौजूदगी में बातचीत कर 27 दिसंबर को अपनी रिपोर्ट पेश करनेगी। तब तक हॉस्टल खाली नहीं कराया जाएगा। यह समिति सुबह 11 बजे छात्रों से मुलाकात प्रशासनिक भवन में करेगी। वार्डन्स ने यूनिवर्सिटी एडमिनिस्ट्रेशन को बताया है कि यूपी के एक भी छात्र को हॉस्टल अलॉट नहीं किया गया है। वहीं पीजी के 19 स्टूडेंट्स की सूची दी गई है जो छात्रवास में रह रहे है। इसमें यूनिवर्सिटी निरीक्षण कर यह सुनिश्चित करेगा कि ये सभी यूनिवर्सिटी में रजिस्टर्ड स्टूडेंट्स हैं या नहीं। उन्होंने बताया कि कोरोना संक्रमण के बढ़ते खतरे को देखते हुए गोरखपुर यूनिवर्सिटी एडमिनिस्ट्रेशन ने छात्रों के हित में विंटर वैकेशन में हॉस्टल्स को पूरी तरह से खाली करा कर यूजीसी की गाइडलाइंस के मुताबिक सैनिटाइज कराने का फैसला किया है। सैनिटाइजेशन कराने और मरम्मत कार्य कराने के बाद स्टूडेंट्स को ऑनलाइन और मेरिट के आधार पर अलॉटमेंट किया जाएगा।