- भगवान सूर्य की आराधना कर व्रती महिलाओं ने कोरोना से निजात दिलाने के लिए की भगवान सूर्य से प्रार्थना

- महिलाएं आज देंगी उदयीमान सूर्य को अ‌र्घ्य, करेंगे चार दिनों के व्रत का पारण

GORAKHPUR: लोक आस्था का चार दिवसीय महापर्व चैती छठ का पहला अ‌र्घ्य रविवार की शाम डूबते सूर्य को दिया गया। व्रती महिलाओं ने सूर्य का पूजन-अर्चन कर परिवार की सुख-समृद्धि की कामना के साथ ही कोरोना से निजात के लिए प्रार्थना की। सोमवार की सुबह व्रती महिलाएं उदीयमान सूर्य को अ‌र्घ्य देकर चार दिनों के व्रत का पारण करेंगी।

घाटों पर नहीं गई महिलाएं

कोरोना के बढ़ते संक्त्रमण के बीच रविवार को लगे बिकेंट लॉकडाउन के कारण इस बार चैती छठ पर सार्वजनिक कार्यक्त्रम नहीं हो सके। महिलाएं घाटों पर न जाकर घरों पर ही कृत्रिम पोखरा बना उसमें खड़े होकर विधि-विधान से भगवान सूर्य की आराधना की एवं अ‌र्घ्य दिया।

दो बार मनाया जाता है छठ -

- सूर्य उपासना का महापर्व छठ वर्ष में दो बार मनाया जाता है।

- पहला चैत्र मास तो दूसरा कार्तिक मास में।

- गोरखपुर सहित उत्तर प्रदेश के पूवरंचल, बिहार और झारखंड में श्रद्धा पूर्वक चैती छठ एवं कार्तिक का छठ मनाया जाता है।

- चैती छठ की शुरुआत शुक्रवार से को नहाए खाए से हुई थी।

- महिलाओं ने शनिवार को खरना किया और रविवार की सुबह निर्जल व्रत रहकर छठ का प्रसाद बनाने में जुट गई।

- ठेकुआ, पुड़ी, हलवा, गुलगुला बनाने के बाद महिलाओं ने शाम को पुन: स्नान कर श्रृंगार किया।

- इसके बाद विधि-विधान से भगवान भास्कर की पूजा-अर्चना की कर डूबते हुए सूर्य को अ‌र्घ्य दिया।

इंसर्ट

कोरोना से निजात के लिए पूजा-पाठ

सामाजिक संगठन युवा जनकल्याण समिति की ओर से विशेष पूजन का आयोजन किया गया। संगठन के केंद्रीय कार्यालय राजेंद्र नगर पश्चिमी गोकुलधाम में आयोजित कार्यक्रम में कोरोना से संक्रमित सीएम योगी आदित्यानाथ के स्वास्थ्य लाभ व कोरोना से निजात के लिए प्रार्थना की गई। इस दौरान संगठन के प्रदेश अध्यक्ष कुलदीप पांडेय ने दुर्गा सप्तशती का पाठ व रोग नाशक आदि शक्ति मां दुर्गाजी के मंत्र का एक सौ आठ बार जप कर हवन किया। उन्होंने सीएम योगी आदित्यनाथ के शीघ्र स्वस्थ होने कि कामना करते हुए कोरोना जैसे भयावह माहामारी से लोगों से निजात दिलाने के लिए प्रार्थना की।