-रख-रखाव के अभाव में मोबाइल टॉयलेट खराब

-टॉयलेट का उपयोग करने में पब्लिक कर रही संकोच

GORAKHPUR: गोरखपुर मार्केट की अगर सबसे बड़ी कोई प्रॉब्लम है, तो वह है पार्किंग व टॉयलेट। काफी दिनों से इससे लोग जूझ रहे हैं, लेकिन अब तक प्रॉब्लम का सॉल्युशन नहीं मिल सका है। हालत यह है कि पार्किंग सिर्फ कागजों में ही बन रही है, वहीं स्वच्छ भारत अभियान के तहत नगर निगम की तरफ से लाखों रुपए खर्च कर सिटी में स्थापित मोबाइल टॉयलेट रख-रखाव के अभाव में बदहाल हो चुके हैं। पिछले साल शहर में लगे 12 मोबाइल टॉयलेट में से अब एक भी इस्तेमाल के लायक नहीं बचा है। कभी पानी नहीं, तो कभी गंदगी के अंबार से तंग आ चुके लोग अब इसका यूज करने से कतराने लगे है। शहर में किनारे पड़े इन टॉयलेट्स को कोई पूछने वाला नहीं है, जिसकी वजह से शहर में आज भी लोग मार्केट में जाकर टॉयलेट की तलाश करने के बजाए घर लौटना ही पसंद करते हैं।

यहां लगे हैं टॉयलेट

यूनिवर्सिटी रोड, रेलवे स्टेशन, सिविल लाइंस, पार्सल गेट, नसीराबाद

वर्जन

हमारी सुविधा के लिए शौचालय लगाए गए थे, लेकिन अब वो बेकार हो गए है। टॉयलेट में पानी नहीं होने के कारण इसका उपयोग नहीं किया जा सकता है।

संतोष गुप्ता

शौचालय के लगने के बाद आज तक कोई कर्मचारी नहीं आया। शुरू वाले दिन ही शौचालय की टंकी में पानी डालकर गए थे, उसके बाद आजतक पानी नहीं डाला गया है।

महेंद्र कुमार

शौचालय में गंदगी होने से बदबू आती रहती है। जिससे राहगीर भी इसका प्रयोग करने से बचते हैं।

सुनील कुमार

शौचालय जरूरत के हिसाब से सार्वजनिक स्थानों के समीप लगा है। बताया था कि अब हमें शौच के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा। लेकिन इनकी हालत अब खराब है।

अंकित जायसवाल

वर्जन

नगर निगम की तरफ से नियमित रूप से इन टॉयलेट्स की सफाई करने के आदेश हैं, फिर भी अगर कोई कमी है तो उसे सही कराया जाएगा।

डीके सिन्हा, अपर नगर आयुक्त