गोरखपुर (ब्यूरो)।समाजशास्त्र में अधिक साहस के साथ सत्य को उद्घाटित करने की क्षमता है, जिस पर कार्य किया जा सकता है। यह बातें डीडीयू गोरखपुर यूनिवर्सिटी के यूजीसी-एचआरडी सेंटर और डिपार्टमेंट ऑफ सोशियोलॉजी की ओर से 'समाजशास्त्र में उभरते प्रतिमानÓ विषय पर आयोजित रिफ्रेशर कोर्स के समापन सत्र को संबोधित करते हुए इंडियन सोशियोलॉजिकल सोसाइटी की पूर्व अध्यक्ष प्रो। आर इंदिरा ने बतौर चीफ गेस्ट कहीं।
समाज निर्माण में स्टूडेंट्स निभाएं भूमिका
कार्यक्रम में स्वागत भाषण देते हुए यूजीसी एचआरडी सेंटर के डायरेक्टर प्रो। रजनीकांत पांडेय ने कहा, सामाज में हो रहे परिवर्तनों का विश्लेषण करके शिक्षक को उसके परिणामों से विद्यार्थियों को अवगत कराना होगा, जिससे विद्यार्थी समाज निर्माण में अपनी भूमिका निभा सकें। डिपार्टमेंट की एचओडी प्रो। संगीता पांडेय ने कहा कि कार्यक्रम में लगभग तीस से अधिक विषय विशेषज्ञों ने अपने व्याख्यान दिए और समाजशास्त्र की प्रांसगिकता और उभरती प्रवृत्तियों पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम का संचालन डॉ। मनीष पांडेय और आभार ज्ञापन डॉ। दीपेंद्र मोहन सिंह ने किया। डॉ। निधि मिश्रा और डॉ। धनन्जय कुमार ने प्रतिभागियों के प्रतिनिधि रूप में फीडबैक दिया। इस दौरान प्रो। कीर्ति पांडेय, प्रो। सुभी धुसिया, प्रो। अंजू, डॉ। अनुराग द्विवेदी, डॉ। पवन कुमार, डॉ। प्रकाश प्रियदर्शी समेत 50 से अधिक प्रतिभागी उपस्थित रहे।