गोरखपुर (ब्यूरो)। यहां लेडीज कपड़े, क्रॉकरी, इलेक्ट्रॉनिक और चप्पल का आकर्षक बाजार है। यहां से गोरखपुर-बस्ती मंडल से लेकर सोनौली तक क्रॉकरी, इलेक्ट्रॉनिक आइटम और साइकिल खरीदकर जाती हैं। रेती व्यापार मंडल के पदाधिकारियों की मानें तो इस बाजार से डेली करोड़ों का सामान बाहर जाता है। इस मार्केट में लेडीज कपड़े, चप्पल, साइकिल हर एज ग्रुप के लिए लेडीज कपड़े का स्पेशल और सस्ता कलेक्शन मिल जाएगा। पितृपक्ष में मार्केट में आने वाले कस्टमर्स की संख्या में आंशिक गिरावट है, लेकिन जैसे ही फेस्टिव सीजन आएगा। मार्केट में कदम रखना भी मुश्किल होगा। अपने या परिवार के किसी सदस्य के लिए बजट में कपड़े खरीदने के लिए भी ये बाजार बेहतर विकल्प हैं। 50 हजार से अधिक कस्टमर यहां डेली आते हंै।

पिंडारी बिल्डिंग से हुआ रेती

रेती बाजार के मो। कलीम बताते है कि यह बाजार 1960 से चल रहा है। पिंडारी बिल्डिंग में नौटंकी, प्रोग्राम सहित अन्य छोटे-बड़े कार्यक्रम होते थे। दौर बदला, धीरे-धीरे इसे मदीना मस्जिद चौक के नाम से भी कुछ लोग जानने लगे, फिर रेती पुलिया नाम पड़ा। यह मार्केट अपने फैशनेबल आइटम, लेडीज कपड़े, क्रॉकरी, इलेक्ट्रॉनिक और चप्पल आदि के थोक और फुटकर कारोबार के लिए जाना जाता है।

दुपट्टा गली पूर्वांचल में मशहूर

रेती व्यापार मंडल के पदाधिकारियों के अनुसार दुपटटा गली लेडीज कपड़ों और अन्य सामान की वजह से पूरे पूर्वांचल में जाना जाता है। इस गली की बात की जाए तो 500 से अधिक दुकानें हैं। यहां कपड़े और क्रॉकरी आइटम बिकते हैं। डेली 30 से लेकर 40 लाख का कारोबार इस गली से होता है। यहां से गोंडा, बस्ती, खलीलाबाद, सोनौली, कुशीनगर, देवरिया, बिहार के साथ गोरखपुर जिला भर में यहीं से सामान जाता है।

करोड़ों में होता कारोबार

रेती बाजार के व्यापारियों का कहना है कि यहां हर महीने कारोबार करीब 25 से 45 करोड़ के आसपास रहता है। फेस्टिव सीजन में कारोबार का ग्राफ बढ़ जाता है, इस आंकड़े से साफ है कि औसतन 1 करोड़ से लेकर तीन करोड़ तक का कारोबार होता है। इस मार्केट में 200 हजार से अधिक दुकानें है और करीब 40 फीसदी दुकानें लेडिज गारमेंट की हैं। बाकी 60 फीसदी में क्रॉकरी, इलेक्ट्रॉनिक, साइकिल और चप्पल का मार्केट है।

ब्रांडेड कंपनियों के आउटलेट

रेती मार्केट में लोकल ब्रांड से लेकर बाहरी ब्रांड का आउटलेट है। इस मार्केट में एक तरफ जहां आए दिन सेल लगी रहती है। वहीं, दूसरी तरफ हाई रेंज से लेकर नॉर्मल रेंज तक के सामान उपलब्ध हैं। इस मार्केट में कई बढ़ी कंपनियों के आउटलेट भी आपको नजर आ जाएंगे, जिससे आपके पास सामनों के विभिन्न कलेक्शन देखने और उन्हें खरीदने का मौका रहेगा।

फेस्टिवल में डिमांड

बाजार में इस बार नया कलेक्शन पहुंचा है। रेती में फैंसी लहंगे दिल्ली से, मुंबई एवं कोलकाता और सूरत से मंगाए जाते हैं। फेस्टिवल सीजन आने वाला है जिसमें कस्टमर्स नए आइटम्स की डिमांड करते है। जिसको लेकर यहा के सभी व्यापारी अपनी-अपनी दुकानों पर नए कलेक्शन भर लिए है। बचे हुए माल को गोदाम में रखे हैं, जिससे कस्टमर्स को कोई दिक्कत न हो।

एक नजर में रेट (रुपए में)

आइटम रेट

लेडीज कपड़े स्टार्ट 100- 10,000

क्रॉकरी आइटम 50- 5000

साइकिल ब्रांडेड 3000-60,000

इलेक्ट्रानिक सामान 1000-2,00,000

डाटा

परडे 1 से 3 करोड़ का बाजार

मंथली 30 से 45 करोड़ का बाजार

डेली फूटफॉल 50 हजार से अधिक कस्टमर

फेस्टिवल में 1 लाख कस्टमर

रेती पूर्वांचल का बड़ा मार्केट है। इस मार्केट में आपको गृहस्थी से जुड़ी हर चीज आसानी से मिल जाती है। लेडीज कपड़े, जूते-चप्पल, लहंगा, साड़ी आदि सभी प्रकार के दुकानें है। यह मार्केट शॉपिंग के लिए एक अच्छा विकल्प साबित होती है।

जसपाल सिंह, अध्यक्ष, रेती व्यापार मंडल समिति

पितृपक्ष के बाद फेस्विल सीजन की शुरुआत हो जाएगी तो मार्केट में कस्टमर की चहल-पहल बढ़ेगी। अभी थोड़ा डाउन है। मार्केट में त्योहारी आइटम आ गए हैं।

मो। कलीम, व्यापारी