लैफ़्टिनेंट कमांडर सारा वेस्ट को लड़ाकू ज़हाज़ एचएमएस पोर्टनेंट के कप्तान के रूप में चुना गया है। सारा वेस्ट को उनकी काबिलियत, फ़ैसला लेने की क्षमता और तेज़ नीतिशास्त्र के लिए चुना गया है। पिछले कुछ सालों में महिलाओं ने ब्रितानी नौसेना में मुख्य भूमिका निभानी शुरु की है।

ब्रितानी सेना ने साल 1990 में पहली बार महिलाओं को समुद्र में जाने की इजाज़त दी थी। लेकिन आज नौसेना में लगभग 10 प्रतिशत कर्मी महिलाएं हैं। हाल ही में महिलाओं को छोटे जहाज़ों के लिए कमांडर के रूप में चुना गया था। ये जहाज़ ज़्यादातर माइन हंटर और मछली पकड़ने वालों की सुरक्षा के लिए तैनात किए जाते हैं। लेकिन अब तक किसी भी महिला ने इतने बड़े जहाज़ की कमान नहीं संभाली थी।

बराबर अवसर

लैफ़्टिनेंट कमांडर सारा वेस्ट एचएमएस पोर्टलैंड के टाइप-23 लड़ाकू जहाज़ का नेतृत्व करेंगीं। किसी भी तरह के वायु ख़तरे से निपटने के लिए, टाइप-23 जहाज़ चार शक्तिशाली बंदूकों और कई तरह के मिसाइल सिस्टमों से लैस होगी।

सारा वेस्ट की उपलब्धि को इसलिए क़ाबिल-ए-तारीफ़ बताया जा रहा है क्योंकि ब्रितानी सेना में प्रतिस्पर्धा बढ़ती जा रही है। हाल ही में ब्रितानी सरकार ने अपने रक्षा बजट में कटौती की थी जिसका असर नौसेना पर भी पड़ा था। शाही नौसेना के प्रवक्ता ने कहा कि सारा वेस्ट की नियुक्ति ये दर्शाती है कि संस्था बराबर अवसर देने में विश्वास रखता है। हालांकि असल में आज भी नौसेना में कार्यरत महिलाओं के रास्ते में बहुत सी चुनौतियां हैं। आज भी महिलाएं पनडुब्बियों में काम नहीं कर सकती।

International News inextlive from World News Desk