कानपुर (ब्यूरो) करीब तीन वर्ष पहले सिटी में स्मार्ट मीटर प्रीपेड और पोस्टपेड मीटर लगाने का डिसीजन हुआ था। पहले चरण में 1.59 लाख स्मार्ट मीटर लगाए जाने थे। पिछले वर्ष अगस्त तक सिटी में 1.07 लाख स्मार्ट मीटर लगा दिए गए थे। इनमें ज्यादातर स्मार्ट पोस्टपेड मीटर थे। करीब दो वर्ष पहले जन्माष्टमी के दिन पूर्वांचल के कई जिले अंधेरे में डूब गए थे, इसकी वजह स्मार्ट मीटर सॉफ्टवेयर में आई प्रॉब्लम बताई गई। इस पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने पूरे प्रदेश में स्मार्ट मीटर लगाने पर रोक लगाते हुए जांच भी बिठा दी थी।

कई गड़बडिय़ां आ रही थीं
सीएम के स्मार्ट मीटर पर रोक लगाने के बाद यूपीपीसीएल ने कन्ज्यूमर्स से इसे लेकर फीडबैक भी लिए। कन्ज्यूमर्स ने स्मार्ट मीटर लगने के बाद सामने आ रही कई परेशानियां बयां कीं। जिसमें प्रमुख रूप से स्मार्ट मीटर की रीचार्जिंग प्रॉब्लम, डिसकनेक्शन के बाद रीकनेक्शन न होना, बिल व बैलेंस के एसएमएस न पहुंचना आदि समस्याएं बताई।

नया कनेक्शन, पुराना मीटर
तीन वर्ष पहले स्मार्ट मीटर लगने की वजह से अन्य इलेक्ट्रिसिटी मीटर खरीदने केस्को ने बन्द कर दिए। लेकिन, अगस्त, 2020 में स्मार्ट मीटर लगाने पर रोक लगाने से केस्को स्टोर में मीटर की शॉर्टेज हो गई। मीटर के साथ नए कनेक्शन रिलीज किए जाने की वजह से पेंडेसी लंबी हो गई। लोगों को नया इलेक्ट्रिसिटी कनेक्शन और खराब मीटर बदलने के लिए केस्को के चक्कर काटने पड़े। इससे केस्को को अन्य डिस्कॉम के आगे इलेक्ट्रिसिटी मीटर के लिए हाथ फैलाने पड़े। कई बार इसमें भी सफलता न मिलते देख आखिरकार हटाए गए पुराने मीटर नए कनेक्शन में लगाने का डिसीजन किया। बावजूद इसके थ्री फेज इलेक्ट्रिसिटी मीटर की शॉर्टेज बनी हुई है।

यूपीईआरसी में शिकायत
इस बीच 2जी स्मार्ट मीटर में लोड जम्पिंग के भी कई मामले सामने आए। वहीं 4जी के जमाने में 2जी स्मार्ट लगाए जाने के खिलाफ विद्युत उपभोक्ता परिषद ने भी यूपी इलेक्ट्रिसिटी रेगुलेटरी कमीशन(यूपीईआरसी) से शिकायत की। आखिरकार 4जी स्मार्ट मीटर लगाए जाने का डिसीजन हुआ। 4जी स्मार्ट मीटर को लेकर काफी समय से एनर्जी मिनिस्ट्र्ी और इलेक्ट्रिसिटी डिस्ट्रीब्यूशन कंपनीज के बीच सजेशन और ऑब्जेक्शन का दौर चला। अब आखिरकार 4जी स्मार्ट मीटर डिस्कॉम को भेजने का डिसीजन हुआ है। केस्को के चीफ इंजीनियर संजय अग्र्रवाल ने बताया कि अगले महीने तक 4जी स्मार्ट मीटर केस्को को मिलने की उम्मीद है।