- सैटरडे से शुरू हो रहा है सट्टेबाजों का सबसे बड़ा 'फेस्टिवल' आईपीएल, हाईटेक तरीके से दांव खेलने और खिलाने को तैयार बुकीज

-गुमटी में रैकेट पकड़े जाने के बाद मोबाइल एप के जरिए हो रही सट्टेबाजी, मनी ट्रांसफर के लिए डिजिटल पेमेंट बैक का कर रहे यूज

KANPUR: सट्टेबाजों का सबसे बड़ा 'त्योहार' यानि आईपीएल का मंच सज चुका है। सैटरडे से मैच खेले जाएंगे। इसी के साथ सट्टेबाजों ने भी पूरी तैयारी कर ली है। पुलिस से बचने के लिए सट्टेबाज हाईटेक तो पहले ही हो चुके हैं। सिर्फ जो पैसा लगाया जाता था वह कैश में होता था। वहीं अब सट्टेबाजों ने पैसा लगाने का काम भी कैशलेस कर दिया है। इस स्मार्ट सट्टेबाजी को पकड़ने का फिलहाल पुलिस के पास कोई तोड़ नहीं है। क्योंकि कोई भी ट्रांजेक्शन कैश में हो ही नहीं रहा है। साथ ही जिन एप का सट्टेबाजी में इस्तेमाल किया जा रहा है वह काफी हद तक रमी वाले आनलाइन गेम्स से मिलते जुलते हैं। कैशलेस सट्टे का पैसा ट्रांसफर करने के लिए भी मोबाइल वॉलेट एप या डिजिटल पेमेंट बैंक का इस्तेमाल रैकेटियर कर रहे हैं।

इन एप से लगते हैं दांव

गुमटी में बीते हफ्ते पुलिस की छापेमारी के बाद पकड़े गए बड़े सट्टेबाजी रैकेट में पुलिस को 93 लाख रुपए बरामद हुए थे.मामले की जांच में पता चला कि रैकेटियर मोबाइल एप के जरिए सट्टेबाजी करते थे। सट्टे का रेट सरगना सोनू सरदार तय करता था। जिन एप का सट्टेबाजी में इस्तेमाल होता था। उसमें क्रिकेट गुरूज, क्रिकेट लाइव लाइन जैसे गेम्स शामिल थे। इसके अलावा स्काई एक्सचेंज एप के जरिए भी पैसा लगाया जाता था। स्काई एक्सचेंज एप का इस्तेमाल की सट्टेबाज पैसा लगाने के लिए करते थे। हालाकि इस पूरे रैकेट में पैसे का लेनदेन कैश में ही हाेता था।

इन इलाकों में सट्टे का बड़ा काम

- गुमटी, दर्शनपुरवा, स्वरूप नगर, जनरलगंज, रेलबाजार, महाराजपुर, काकादेव, गोविंद नगर

------------------

पुलिस के िलए चुनौती

गुमटी में सट्टेबाजी रैकेट के भंडाफोड़ होने के बाद भी सिटी में सट्टेबाजी रुक गई हो ऐसा नहीं है। आईपीएल का सीजन शुरू होने को है। साल में इसी वक्त पर सबसे ज्यादा सट्टेबाजी होती है। ऐसे में सट्टेबाजों के बुकीज और उनसे जुड़े दूसरे सटोरियों ने सट्टे में पैसा लगाने के प्रोसेस को कैशलेस कर दिया है। सट्टा लगाने के लिए अब सटोरिए मोबाइल पेमेंट बैंक या मोबाइल वॉलेट का इस्तेमाल कर रहे हैं। खास तौर से रेलबाजार, काकादेव और स्वरूप नगर एरिया में एक्टिव सटोरिये इस काम को ज्यादा कर रहे हैं। अब पुलिस के लिए इन सटोरियों के पेमेंट की चेन को पकड़ना भी बड़ी चुनौती है।

वर्जन-

सट्टेबाजों को पकड़ने के लिए पुलिस की टीमें लगी हैं। साइबर सेल की भी मदद ली जा रही है। कानपुर में पहले भी ऐसे कई मामले पकड़े गए हैं। ऐसे में पुलिस ज्यादा सतर्कता बरत रही है।

- डॉ.अनिल कुमार, एसपी वेस्ट