- शहर में हॉलमार्किंग के सिर्फ 4 सेंटर, लेकिन रजिस्टर्ड ज्वैलर्स 482

- हर सेंटर की हॉलमार्क करने की क्षमता सीमित होने से बढ़ी वेटिंग

KANPUR: हॉलमार्किंग की अनिवार्यता के बाद कानपुर के ज्वैलर्स ने बीआईएस में रजिस्ट्रेशन कराना शुरू किया। इसके बाद वह अपनी ज्वैलरी को हॉलमार्क कराने हॉलमार्किंग सेंटर पहुंचने लगी तो वहां पर वेटिंग बढ़ गई। अब हाल यह है कि ज्वैलर्स को अपनी ज्वैलरी की हॉलमार्किंग कराने में एक हफ्ते तक का वक्त लग रहा है। जिससे सर्राफा कारोबारी परेशान हैं। मालूम हो कि हॉलमार्किंग अनिवार्य होने के बाद से अब तक शहर में एक भी हॉलमार्किंग सेंटर नहीं बढ़ा है। शहर में 2 हजार से ज्यादा सर्राफा कारोबारी है। ऐसे में अगर सभी ने हॉलमार्किंग के लिए रजिस्ट्रेशन करा लिया तो मौजूदा सेंटरों के लिहाज से हॉलमार्क कराने में एक महीने तक का वक्त लगेगा।

अगर सेंटर नहीं बढ़े तो

कानपुर महानगर सर्राफा एसोसिएशन के पदाधिकारी अशोक बाजपेई बताते हैं कि अभी कानपुर में 25 फीसदी के करीब ज्वैलर्स ने ही बीआईएस में रजिस्ट्रेशन कराया है। शहर में अभी 4 ही हॉलमार्किंग सेंटर हैं। अगस्त और सितंबर तक शहर में ज्यादातर ज्वैलर्स बीआईएस में रजिस्ट्रेशन करवा लेगें। ऐसे में प्रतिदिन 50 हजार तक आर्टिकल्स की हॉलमार्किंग करने का लोड होगा। ऐसे में अगर सेंटर नहीं बढ़े तो महीने भर की भी वेटिंग हो सकती है।

फैक्टफाइल-

3 टन - सोने के जेवर मौजूदा समय में कानपुर में ज्वैलर्स के स्टॉक में

482 - ज्वैलर्स ने हॉलमार्किंग के लिए कराया रजिस्ट्रेशन

2300 - छोटी बड़ी ज्वैलरी शॉप कानपुर में

1200 - आर्टिकल्स को प्रतिदिन हॉलमार्क करने की क्षमता चारों सेंटरों की