- इन बैंकों से खत्म किए जाएंगे सीएसजेएम यूनिवर्सिटी के बैंक अकाउंट

- सीएसजेएमयू की कार्यपरिषद की बैठक में लिया गया फैसला

KANPUR: सीएसजेएम यूनिवर्सिटी का रिश्ता अब प्राइवेट बैंकों से टूटेगा। दरअसल, बैंक अकाउंट अब प्राइवेट बैंकों में नहीं होंगे। कॉलेजों की फीस व स्टूडेंट के शुल्क समेत जितने भी खाते प्राइवेट बैंकों में चल रहे हैं उन्हें बंद किया जाएगा। यह पैसा राष्ट्रीयकृत बैंकों में स्थानांतरित किया जाएगा। वाइस चांसलर प्रो। डीआर सिंह की अध्यक्षता में हुई कार्यपरिषद की बैठक में यह फैसला लिया गया।

एक हजार डिग्री कॉलेज जुड़े

यूनिवर्सिटी से करीब एक हजार डिग्री कॉलेज संबद्ध हैं। इन कॉलेजों में 10 लाख से अधिक स्टूडेंट्स स्टडी कर रहे हैं। कॉलेजों की संबद्धता से लेकर स्टूडेंट्स के एग्जाम फीस तक विभिन्न मदों में एक बड़ी रकम हर साल यूनिवर्सिटी में जमा होती है। अभी तक कई प्रकार के शुल्क ऐसे हैं जिन्हें प्राइवेट बैंकों में जमा किया जाता है।

30 परसेंट सिलेबस में बदलाव

कार्य परिषद की बैठक में चर्चा हुई कि राष्ट्रीयकृत बैंकों में पैसों की सुरक्षा अधिक होती है। लेखा विभाग को यह निर्देश दिए गए कि जल्द ही जो भी बैंक अकाउंट बैंकों में है उसे राष्ट्रीयकृत बैंकों में स्थानांतरित करा लिया जाए। बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि यूनिवर्सिटी नए सेशन से सिलेबस में जो बदलाव करने जा रहा है उस पर काम शुरू कर दिया जाए। यूनिवर्सिटी को 30 परसेंट सिलेबस में बदलाव करना है।

सीनियर प्रोफेसर्स की टीम देखेगी

विद्या परिषद की बैठक में इसे हरी झंडी मिल चुकी है। सिलेबस में बदलाव करने के लिए सीनियर प्रोफेसर्स की टीम कोर्स का आंकलन करेगी। कार्यपरिषद की बैठक में डीन एकेडमिक प्रो। संजय स्वर्णकार, रजिस्ट्रार डॉ। अनिल कुमार यादव, क्षेत्रीच् उच्च शिक्षा अधिकारी डॉ। रिपुदमन सिंह, प्रो। अंशु यादव व डॉ। संदीप सिंह समेत अन्य सदस्य मौजूद रहे।