- वार्डो की गलियों से मलबा उठाने के लिए पर्याप्त संसाधन नहीं

- लंबे समय तक मलबा फैला होने से उड़ती है धूल

LUCKNOW

हवा में घुलते पॉल्यूशन रूपी जहर के ग्राफ को समाप्त करने या कम करने के लिए यह बेहद जरूरी है कि समय से मलबा उठान किया जाए। अगर समय से मलबा उठ जाएगा तो निश्चित रूप से धूल नहीं उड़ेगी। हालांकि शहर के कई इलाकों में मलबा समय से नहीं उठ पाता है, इसकी वजह से कहीं न कहीं इसका असर पॉल्यूशन के ग्राफ पर देखने को मिल रहा है।

संसाधनों की कमी

समय से मलबा उठान न होने की एक प्रमुख वजह संसाधनों की कमी है। पर्याप्त संसाधन न होने की वजह से मलबा नहीं उठ पाता है। जिसकी वजह से मलबे से उठने वाली धूल पॉल्यूशन के ग्राफ में इजाफा करती है। जानकारी के अनुसार, हर जोन में मलबा उठान के लिए कहीं दो तो कहीं तीन गाडि़यां ही दी गई हैं। इन गाडि़यों के खराब होने की स्थिति में मलबा उठान में समय लगता है।

हादसे का भी डर

मलबा पड़े होने की वजह से जनता को भी खासी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इसके साथ ही कई बार तो मलबा का कुछ हिस्सा सड़क पर आ जाता है, जिसकी वजह से हादसे होने का भी खतरा बना रहता है। बारिश होने पर तो स्थिति और भी ज्यादा खराब हो जाती है।

नियमित कार्रवाई की जरूरत

सड़क पर मलबा फेंकने वालों के खिलाफ नियमित कार्रवाई की जरूरत है। वर्तमान समय में निगम प्रशासन की ओर से कार्रवाई तो की जाती है लेकिन इसका कोई खास असर देखने को नहीं मिलता है। जब तक नियमित कार्रवाई नहीं होगी, तब तक सड़क किनारे ही मलबे के ढेर नजर आएंगे।

पांच टन का प्लांट

शहर में मलबा निस्तारण एक बड़ी समस्या है। इस समस्या को दूर करने के लिए निगम प्रशासन की ओर से प्लांट लगाने की तैयारी है। जिससे आसानी से मलबे का निस्तारण किया जा सके। सरोजनी नगर या बंग्ला बाजार चौराहे के आसपास प्लांट को स्थापित करने की तैयारी की जा रही है।

- 110 वार्ड से मलबा कलेक्ट होगा

- 5 टन के करीब रहेगी प्लांट की क्षमता

नियमित रूप से मलबा उठान का कार्य कराया जा रहा है। अगर किसी एरिया में मलबा उठान में कोई प्रॉब्लम आ रही है तो तत्काल अतिरिक्त संसाधन लगाए जाएंगे।

अजय कुमार द्विवेदी, नगर आयुक्त