लखनऊ (ब्यूरो)। प्रदेश की बिजली व्यवस्था में और बेहतर सुधार करने के लिए तीन स्टेट गुजरात, एमपी और हरियाणा की मदद ली जाएगी। इसके लिए बिजली विभाग की तीन टीमें तीनों स्टेट रवाना हो गई हैैं और वहां जाकर बिलिंग, मीटरिंग समेत कई बिंदुओं पर अध्ययन कर रही हैैं। तीनों स्टेट के आधार पर जो रिपोर्ट तैयार होगी, उसे यूपी में इंप्लीमेंट किया जाएगा, जिसका सीधा फायदा प्रदेश के तीन करोड़ से अधिक उपभोक्ताओं को मिलेगा।

डिस्कॉम की रेटिंग में आगे हैैं स्टेट

उप्र पावर कारपोरेशन अध्यक्ष डॉ। आशीष गोयल ने बताया कि वितरण कंपनियों द्वारा मीटरिंग, बिलिंग, कलेक्शन एवं वितरण के कार्यों में सुधार के लिए लगातार कदम उठाए जा रहे हैैं। पावर फाइनेंस कारपोरेशन द्वारा की जा रही डिस्काम की रेटिंग में देश के अग्रणी राज्यों गुजरात, मध्य प्रदेश तथा हरियाणा के डिस्कॉम में मीटरिंग, बिलिंग, कलेक्शन एवं वितरण आदि से संबन्धित कार्यों का अध्ययन करने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों की तीन टीमों का गठन किया गया है।

इस तरह गई हैैं टीमें

प्रबन्ध निदेशक (केस्को) सैमुअल पाल के नेतृत्व में नौ सदस्यीय टीम गुजरात गई है। इसी तरह मध्यांचल डिस्काम के निदेशक वाणिज्य योगेश कुमार के नेतृत्व में आठ सदस्यीय टीम मध्य प्रदेश गई है तथा पूर्वांचल डिस्काम के निदेशक वाणिज्य राजेन्द्र प्रसाद के नेतृत्व में हरियाणा जा रही है। यह टीमें डिस्काम के अंतर्गत बिलिंग कलेक्शन एवं इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई सिस्टम के विषय में अपनाई जा रही बेस्ट प्रैक्टिसेस का बारीकी से अध्ययन करेगी। जिसमें उपभोक्ताओं की बिलिंग की व्यवस्था, मीटरिंग, राजस्व कलेक्शन किन-किन माध्यमों से किस प्रकार किया जा रहा है, एनर्जी अकाउंट बनाने की व्यवस्था, फीडर-डीटी एनर्जी आडिट प्रयोग किये जा रहे विभिन्न एप एवं आईटी सिस्टम ट्रांसफॉर्मर्स की क्षतिग्रस्तता एवं उसके मरम्मत किये जाने के संबंध में, उपभोक्ता की शिकायत अटेंड करने की प्रणाली के संबंध में, कार्मिकों के संवाद एवं संदेश प्रणाली के संबंध में, अच्छे कार्य करने वाले कार्मिकों की प्रोत्साहन योजना, डिस्काम रेेटिंग में सुधार लाये जाने आदि बिन्दु शमिल हैं। प्रत्येक टीम अपना प्रेजेंटेशन एवं आख्या एक सप्ताह में अध्यक्ष के समक्ष प्रस्तुत करेेंगे।

यूपी में किया जाएगा इंप्लीमेंट

टीमों की ओर से जो रिपोर्ट दी जाएगी, उसके आधार पर यहां पर अध्ययन किया जाएगा। इसके बाद देखा जाएगा कि किस तरह से रिपोर्ट में शामिल बिंदुओं को यूपी में इंप्लीमेंट किया जा सकता है। जब उक्त बिंदु इंप्लीमेंट कर दिए जाएंगे तो साफ है कि प्रदेश के उपभोक्ताओं को इसका सीधा लाभ मिलेगा।