- 4.90 लाख करोड़ रुपये के करीब हो सकता है बजट

- एक्सप्रेस वे के लिए राज्य सरकार खोलेगी खजाना

LUCKNOW: योगी सरकार गुरुवार को अपना तीसरा बजट पेश करने जा रही है। सुबह कैबिनेट में बजट को स्वीकृति मिलने के बाद तकरीबन 11 बजे वित्त मंत्री राजेश अग्रवाल विधानसभा में भाजपा सरकार का तीसरा बजट पेश करेंगे जिसका आकार पिछले बजट के मुकाबले करीब 15 फीसद ज्यादा हो सकता है। लोकसभा चुनाव नजदीक होने की वजह से बजट में तमाम लोकलुभावन घोषणाएं होने की संभावना जताई जा रही है। खासकर बेटियों, युवाओं, श्रमिकों और किसानों के लिए राज्य सरकार खजाना खोल सकती है। इसके अलावा सूबे में बनने वाले तमाम एक्सप्रेस वे के लिए भी बड़ी धनराशि का इंतजाम बजट में किया जा सकता है।

बेटियों का खास ध्यान

बजट में कन्या सुमंगला योजना के जरिए भ्रूण हत्या जैसी कुरीतियों पर लगाम लगाने की कवायद राज्य सरकार करने की तैयारी में है। इसके तहत बेटी के जन्म से लेकर उसके विवाह तक चरणबद्ध तरीके से उसे सरकार धनराशि देगी ताकि वह अपनी पूरी पढ़ाई कर सकें और लोग बेटियों को बोझ न समझें। इसी तरह युवाओं के लिए मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना भी शुरू हो सकती है। इसमें युवाओं को स्वरोजगार के लिए राज्य सरकार सब्सिडी पर लोन उपलब्ध कराएगी। इसी तरह गरीबों के लिए आयुष्मान भारत जैसी योजना लाने की भी तैयारी है जिसके जरिए उनके इलाज की भरपाई राज्य सरकार द्वारा की जाएगी। यह योजना उन गरीबों के लिए होगी जिनका नाम आयुष्मान योजना में आने से छूट गया है। सूत्रों की मानें तो राज्य सरकार इस बार विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना के लिए बड़ी धनराशि का प्रावधान कर सकती है।

एक्सप्रेस वे पर बरसेगा धन

इसी तरह राज्य सरकार अपने बजट में एक्सप्रेस वे पर धन बरसाने की तैयारी में है। पूर्वाचल एक्सप्रेस वे के अलावा बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे, गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस वे और डिफेंस कॉरीडोर का निर्माण राज्य सरकार की प्राथमिकता है लिहाजा इस बजट में खासी धनराशि दी जा सकती है। वहीं मुख्यमंत्री द्वारा हाल में घोषित किए गये गंगा एक्सप्रेस वे के लिए भी टोकन मनी के रूप में कुछ पैसा दिया जा सकता है ताकि इस योजना को जमीन पर उतारा जा सके। साथ ही सूबे में बन रहे एयरपोर्ट भी सरकार की प्राथमिकता रहेंगे। खासतौर पर अयोध्या में बनने वाले एयरपोर्ट के लिए राज्य सरकार बजट में समुचित धनराशि की व्यवस्था कर सकती है।

किसानों पर भी मेहरबानी

चर्चा है कि केंद्र सरकार की तरह राज्य सरकार अपने बजट में किसानों को उनकी खेती की प्राथमिक जरूरतों को पूरा करने के लिए बजट में बड़ी धनराशि दे सकती है। इससे वर्ष 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने का सपना भी साकार हो सकता है। किसानों को खेती के आधुनिक उपकरण किराए पर देने की योजना भी आ सकती है। राज्य सरकार सौर ऊर्जा के क्षेत्र में बड़ा निवेश कर प्रदेश को ऊर्जा के मामले में स्वावलंबी बनाने की ओर कदम भी बढ़ा सकती है। साथ ही कई केंद्रीय योजनाओं को पूरा करने के लिए बजट में अलग से धनराशि का इंतजाम किया जा सकता है।

पिछले बजट

- 3.84 लाख करोड़ का था वर्ष 2017-18 का बजट

- 4.28 लाख करोड़ रुपये का था वर्ष 2018-19 बजट