- हेल्पलाइन पर रोजेदार पूछ रहे सवाल

LUCKNOW: माहे रमजान के दौरान रोजा रखना फर्ज है, जो न केवल आपकी भूख प्यास को काबू रखने में मदद करता है। बल्कि यह एक प्रकार से खुद को एक बेहतर इंसान बनाने की ट्रेनिंग होती है, जहां इंसान अपनी हाथ, जुबां और आंखों पर भी काबू रखता है ताकि अनजाने में भी कुछ गलत न हो। वहीं रमजान के दूसरे अशरे में लोग इबादत करके अल्लाह से अपने गुनाहों की तौबा करते हुये, गुनाहों की माफी मांगते हैं। इस दौरान खुदा भी रहम दिखाकर उनके गुनाहों को माफ करता है इसीलिए रमजान में हर किसी का ध्यान रखना चाहिए।

सुन्नी सवाल जवाब

सवाल- जो शख्स रमज़ान में रोजा रखता हो और नमाज न पढ़ता हो उसका रोजा होता है या नहीं।

जवाब- रोजा हो जाता है, नमाज छोड़ने का गुनाह रहता है।

सवाल- अगर कई रोजे छूट गए और रखने की उम्मीद नहीं है तो क्या इन रोजों का फिदया एक गरीब को दे सकते हैं या नहीं।

जवाब- एक गरीब को कई रोजों का फिदया दिया जा सकता है। मगर एक रोजे का फिदया कई गरीबों को नहीं दिया जा सकता है।

सवाल- रोजे की हालत में नीम का मिसवाक कर सकते है।

जवाब- कर सकते हैं। इस से रोजे पर कोई असर न होगा

सवाल- किसी व्यक्ति के कई बेटे हैं और सबका कारोबार अलग अलग हो तो क्या सब पर जकात वाजिब है।

जवाब- अगर सब का कारोबार इस तरह का है, जिससे निसाब पूरा होता हो और साल भी गुजर गया हो तो सब पर अलग अलग जकात वाजिब है।

सवाल- अगर नमाज की हालत में किसी गैर नमाजी का लुकमा ले लिया तो क्या नमाज हो जाएगी।

जवाब - नहीं, इस सूरत में नमाज फासिद हो जाएगी।

शिया सवाल.जवाब

सवाल- क्या कोई व्यक्ति रोजे की हालत में इंहेलर इस्तेमाल कर सकता है।

जवाब- अगर रोजेदार इंहेलर इस्तेमाल करना चाहे तो जरूरी है। उसको इस बात का यकीन हो कि दवा देवे में नहीं जाएगी तो इस्तेमाल कर सकता है।

सवाल- अगर कोई रोजेदार तालाब या नदी में नहाए तो उसका रोजा सही होगा।

जवाब । रोजा सिर को पानी में डूबोने से टूटता है। लिहाजा अगर सिर नहीं डूबा है तो रोजा सही होगा।

सवाल- खुम्स का पैसा क्या स्कूल में दी जा सकती है।

जवाब- खुम्स के पैसे में दो हिस्सा होते है। एक हिस्सा सहमे सादात है, जो सिर्फ सैयद लोगो को दिया जाएगा। दूसरा हिस्सा सहमे इमाम है, जो दीनी कामों में जैसे मदरसे में मस्जिद वगैरा में या फिर मुज्तहिद अगर किसी काम की इजाजत दे तो इस्तेमाल हो सकता है।

सवाल- अगर कोई व्यक्ति कर्जदार हो तो क्या उसका कर्जे का हिसाब जकात में कर सकते है।

जवाब- जकात की रकम में कर्जदार का कर्जा दिया जा सकता है।

सवाल- रमजान के आमाल और विशेषता (फजिलत) क्या है

जवाब- रमजान मुहतरम तारीख है क्योंकि इस दिन हजरत मुहम्मद स.अ। के बड़े नवासे इमाम हसन अ.स। का जन्मदिवस है इसलिए जश्न और नज्र आदि बेहतरी काम है।

फैमिली कोट

अल्लाह सभी को इस वबा से बचाए

माहे रमजान के दौरान पूरे परिवार के साथ ऊपरवाले की ज्यादा से ज्यादा इबादत करने का मौका मिल रहा है। नमाज पढ़ने के बाद यही दुआ होती है कि अल्लाह हम लोगों को अपनी पनाहों में लेकर इस वबा से हमें बचाये ताकि हम सब पहले जैसी जिंदगी जी सकें।

सीमा अख्तर

सुन्नी हेल्पलाइन

लोग अपने सवालात दोपहर 2 बजे से 4 बजे के दौरान इन नंबरों 9415023970 9335929670, 9415102947, 7007705774, 9140427677 औरEmail: ramzanhelpline.2005@gmail.com WWW.farangimahal पर सवाल पूछ सकते है।

शिया हेल्पलाइन

महिलाओं के लिए हेल्पलाइन नंबर 6386897124 है जबकि शिया हेल्प लाइन के लिए सुबह 10.12 बजे तक 9415580936, 9839097407 नंबर पर संपर्क करें।