लखनऊ (ब्यूरो)। आजकल की लाइफस्टाइल ऐसी हो गई है कि हर किसी को किसी न किसी बात का स्ट्रेस रहता है। यही स्ट्रेस आगे चलकर कई बीमारियों का कारण बनता है। देश विदेश में बीमारियों के इलाज के लिए नई-नई तकनीकों का इस्तेमाल किया जा रहा है। इसमें से एक तकनीक है साउंड थेरेपी। इस तकनीक का इस्तेमाल डिप्रेशन, तनाव, कोलेस्ट्रॉल जैसी अन्य परेशानियों को ठीक करने के लिए होता है। कई बीमारियों में इसका फायदा भी देखा गया है।

क्या है साउंड थेरेपी?

साउंड थेरेपी वह तकनीक है जिसमें अलग-अलग तरह के म्यूजिक सुना कर, म्यूजिकल इंस्ट्रूमेंट बजा कर और म्यूजिक से संबंधित अन्य चीजों का इस्तेमाल कर के इंसान को शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ बनाया जाता है।

साउंड थेरेपी करने के तरीके

साउंड हीलिंग थेरेपी का सेंटर चला रहे अभिजीत सिंह ने बताया कि साउंड हीलिंग थेरेपी बहुत तरीकों से की जाती है। इसमें अलग-अलग इंस्ट्रुमेंट्स, मंत्र जैसी चीजों का इस्तेमाल होता है। उनके मुताबिक, सिंगिंग बाउल साउंड हीलिंग थेरेपी का सबसे अच्छा तरीका है क्योंकि उसे हम शरीर पर रख भी सकते हैैं जबकि बांसुरी जैसे इंस्ट्रुमेंट्स को सिर्फ दूर से बजा सकते हैैं। इसके अलावा गोंग, ट्यूनिंग फॉर्क जैसे इंस्ट्रुमेंट्स से भी साउंड थेरेपी की जाती है। कुछ हीलिंग बाउल अंगों के हिसाब से भी होते हैैं। जैसे हार्ट का बाउल है जोकि हार्ट की फ्रीक्वेंसी पर ट्यूंड है। इससे हार्ट की समस्याओं को ठीक किया जाता है।

क्या है इसकी प्रक्रिया

अभिजीत सिंह का कहना है कि हर इंसान के दिमाग की एक फ्रीक्वेंसी होती है जिसे ब्रेन वेव फ्रीक्वेंसी कहते हैैं। जब ये फ्रीक्वेंसी ज्यादा हो जाती है तब थकान होने लगती हैै। साउंड थेरेपी से इन फ्रीक्वेंसी को वापस साधारण लेवल पर लाया जाता है जिससे शरीर रिलैक्स हो जाता है। जिन लोगों को ज्यादा तकलीफ होती है वे शुरुआत के सेशन में रोते हैैं, चिल्लाते हैैं और कभी-कभी उनके शरीर में दर्द भी होता है। इसको साइकोसोमेटिक सिंपटम्स कहते हैैं। साउंड थेरेपी के कुछ सेशंस के बाद शरीर रिलैक्स होने लगता है। पहली बार में बहुत ज्यादा फायदा नहीं दिखता है पर कुछ समय के बाद इसके पॉजिटिव असर सामने आने लगते हैं।

साउंड हीलिंग के फायदे

- साउंड हीलिंग शुगर, बीपी, हीमोग्लोबिन को रेंज में रखने में मदद करता है।

- इससे इंसान का शरीर और दिमाग रिलैक्स हो जाता है, जिससे नींद अच्छी आती हैै और दिन में ताजगी महसूस होती है।

- ये इम्यून सिस्टम को मजबूत करने में मदद करता है, जिससे बीमारियों का खतरा कम हो जाता है।

- साउंड थेरेपी से हमारा स्ट्रेस लेवल भी कम हो जाता है।

- ये थेरेपी उन लोगों के लिए भी काम करती है जिन्हें सुनाई नहीं देता। भले ही वे सुन नहीं सकते पर उन्हें वाइब्रेशंस महसूस होती हैैं।

साउंड थेरेपी के कुछ सेशंस के बाद शरीर रिलैक्स होने लगता है। पहली बार में बहुत ज्यादा फायदा नहीं दिखता है पर कुछ समय के बाद इसके पॉजिटिव असर सामने आने लगते हैं।

अभिजीत सिंह