- मस्जिदों में केवल पांच लोग करेंगे नमाज अदा

LUCKNOW: ईद की सुबह ऐशबाग ईदगाह, जामा मस्जिद सहित अन्य सभी मस्जिदों में बड़े पैमाने पर होने वाली ईद की नमाज नहीं होगी। ईद के दिन ईदगाह सहित तमाम मस्जिदें सूनी रहेंगी ताकि कोरोना संक्रमण एक से दूसरे में न फैल सके। मस्जिदों में इसको लेकर तैयारियां आखिरी दौर में चल रही हैं। सभी से अपील की गई है कि जो 5 हजरात मस्जिद में रहते हैं, वह मस्जिद ही में ईद की नमाज अदा करें। जिस घर में 4 हजरात या इससे अधिक लोग हों वह ईद की जमाअत अपने घर पर पढ़ें। अगर किसी घर में 4 हजरात से कम हों तो वह लोग 4 रकआत नफल नमाज ए चाश्त अकेले अकेले पढे़ं। ईद की नमाज वाजिब है, इसको 6 जायद तकबीरों के साथ अदा करें। ऐसे में सभी से अपील कि गई है कि लॉकडाउन का पालन करें और घर में ईद की नमाज अदा करें।

धर्मगुरु कोट

1. तमाम लोगों से अपील है कि ईद की नमाज घर पर ही रहकर पढ़ें। जिस तरह अभी तक लॉकडाउन के नियमों पर अमल किया है उसे ईद के दिन भी अमल करें। लोगों को घर बुलाने या जाने से बचें। वाट्सएप या सोशल मीडिया के जरिये मुबारकबाद दें, गले मिलने और हाथ मिलाने से बचें। दुआ करें कि कोरोना नामक वबा जल्द दूर हो।

। मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली

2. इस वक्त कोरोना नामक वबा चल रही है उससे सुरक्षित रहकर अपने तमाम धार्मिक आयोजनों को अंजाम देना है। लिहाजा जो गर्वनमेंट और डॉक्टर्स ने एडवाइज दी है उसको पहले की ही तरह अमल में लाएं। सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखते हुये एक जगह भीड़ लगाने से बचना चाहिए। केवल परिवार के लोगों के साथ रहकर घर पर ही सेवई खाते हुये ईद मनाएं। आसपास के गरीबों का भी ध्यान रखें।

। मौलाना सैफ अब्बास

3. मस्जिद या ईदगाह में नमाज पढ़ने का मौका नहीं मिलने से मायूस न हों। हमारा रब बहुत ही मेहरबान है। हमें उतना ही सवाब अता फरमाएगा जितना पिछले वर्षो की ईद में पढ़ने पर मिलता था। लॉकडाउन में घरों पर ही नमाज पढ़ें। ईद की खुशियां अपने घरों में मनाएं और न किसी को बुलाएं और न ही किसी के यहां जाएं। मोबाइल के जरिये दूसरों को मुबारकबाद दें। गरीबों की मदद करें।

। मुफ्ती अबुल इरफान फिरंगी महल