अब कुल 7 मरीजों में ब्लैक फंगस की हो चुकी है पुष्टि

इलाज के लिए अस्पताल में दवाइयों की भारी किल्लत

Meerut। जिले में कोरोना के साथ ब्लैक फंगस का खतरा बढ़ता जा रहा है गुरुवार को 5 नए मरीजों में इसकी पुष्टि हुई। इसमें 3 मरीज मेडिकल कॉलेज में मिले, जबकि 2 मरीज न्यूटीमा हॉस्पिटल में बताए जा रहे हैं। इसमें से एक मरीज दिल्ली रेफर हो गया है। जिले में अब कुल 7 मरीजों में ब्लैक फंगस की पुष्टि हो चुकी है।

ऐसे हुई पुष्टि

मेडिकल कॉलेज में आई सर्जन डॉ। लोकेश ने बताया कि उनके यहां दो कोविड-19 जबकि एक पोस्ट कोविड-19 मरीज में इसकी पुष्टि हुई है। उन्होंने बताया की गाजियाबाद से धर्मेंद्र नामक मरीज 11 मई को मेरठ रेफर हुआ था, जिसमे फंगस के लक्षण मिले हैं। जबकि एक अन्य मरीज मेरठ निवासी रजनीश में निगेटिव होने के बाद लक्षण दिखाई दिए हैं। उन्होंने बताया कि मरीजों की आंख की पलकें लटक गई थी, जबकि मुंह और नाक के पास सूजन थी। इसके बाद उनकी एमआरआई करवाई गई, जिसमें फंगस की पुष्टि हुई है। वहीं मेरठ निवासी शारिक नाम के कोरोना मरीज में भी इसकी पुष्टि हुई। हालांकि शारिक को उसके परिजन दिल्ली रेफर करवाकर ले गए। वहीं न्यूटीमा के डायरेक्टर डॉ। संदीप गर्ग ने बताया कि उनके अस्पताल में 2 और मरीजों में फंगस की पुष्टि हुई है।

नहीं है दवाइयां

डॉ। लोकेश ने बताया कि ब्लैक फंगस के इलाज के लिए अस्पताल में फिलहाल दवाइयों की भारी किल्लत है। उन्होंने बताया कि इस बीमारी के इलाज में सबसे कारगर एम्फोटेरिसिन लाइपोसोमल इंजेक्शन है। जो उपलब्ध नहीं हो पा रहा है। वहीं मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ। ज्ञानेंद्र कुमार ने बताया कि शासन को इस संबंध में सूचित कर दिया गया है। इंजेकशन की डिमांड भेजी गई है।