मेरठ, (ब्यूरो)। महानगर में चांदी जहां 66 हजार के पार पहुंच गई है। वहीं सोने का भाव भी 50 हजार को पार कर गया है। सराफा व्यापारियों के अनुसार अंतरराष्ट्रीय बाजार में हो रही उथल पुथल से बाजार में अस्थिरता का माहौल बना हुआ है। ऐसे में खरीदारों ने बाजार से दूरी बना ली है।

थामी थी व्यापार की रफ्तार कोरोना काल में जहां सोने-चांदी के कारोबार की रफ्तार थम गई थी। वहीं अन्य कारोबार भी चौपट हो गए। कोरोना ने वर्ष 2019 में देश में दस्तक दी थी। जिसके बाद से जहां व्यापारियों को भारी नुकसान उठाना पड़ा। वहीं लोगों की जेब पर भी बीमारी का अतिरिक्त बोझ पड़ा। कोरोना काल के बाद 19 नवंबर से 15 दिसंबर तक तीसरा सहालग होगा। व्यापारियों को उम्मीद इस समय सीमा के बीच मांगलिक कार्य संपन्न होंगे। कोरोना की रफ्तार धीमी पडऩे से व्यापारियों की आंखों में चमक जरूर उठी, लेकिन लोगों की खाली जेब ने आकांक्षाओं पर पानी फेर दिया है। फिलहाल लोग हल्के आभूषणों को ही खरीदना पसंद कर रहे हैैं। हालांकि, सर्राफा व्यापारी इस बात से खुश हैैं कि कुछ न होने से कुछ हो रहा है।

300 करोड़ टर्नओवर का अनुमान
मेरठ के सराफा बाजार हाथ से बनी ज्वैलरी के लिए विख्यात है। आसपास की मंडियों के साथ ही एशिया में मेरठ के हाथ से बनी ज्वैलरी की अलग पहचान है। कोरोना काल के बाद से इस सहालग में व्यवसायियों को दो से तीन सौ करोड़ मासिक टर्नओवर रहने की उम्मीद है।

शुक्रवार को सोने-चांदी के भाव
सर्राफा व्यापारियों के अनुसार शुक्रवार को 24 कैरेट सोने के भाव 50450 रुपये प्रति दस ग्राम रहा। वहीं चांदी 66600 रुपये प्रति किलो रही। बीते दो नवंबर को धनतेरस के दिन सोने के भाव 49200 रुपये थे। जबकि चांदी का भाव 66700 रुपये था। बढ़ती महंगाई को देखते हुए निवेशकों ने बाजार से दूरी बना ली है। अभी और दाम बढऩे की उम्मीद मेरठ बुलियन ट्रेडर्स एसोसिएशन के महामंत्री विजय आनंद अग्रवाल ने बताया कि धनतेरस के बाद से अब तक सोने की कीमत में डेढ़ हजार रुपये और चांदी की कीमत में ढ़ाई हजार रुपये की बढ़ोतरी हुई है। जिस तरह से माहौल बना हुआ है। ऐसे में अभी और दाम बढऩे की उम्मीद है। कोरोना काल के बाद लोगों ने इस सहालग में जेवरात खरीदने की तरफ रुख किया है, लेकिन उम्मीदों के हिसाब से लोग खरीदारी नहीं कर रहे हैैं। ग्राहकों की पहली पसंद हल्के जेवरात ही हैैं।

हल्की ज्वेलरी को प्राथमिकता
एसोसिएशन के अध्यक्ष प्रदीप अग्रवाल ने बताया कि कोरोना संक्रमण के बाद इस बार सहालग के सीजन में अच्छी बिक्री की उम्मीद थी, लेकिन महंगाई के चलते उम्मीदों पर पानी फिर गया है। बाजार में शादियों के लिए गहनों की खरीदारी प्रभावित हो रही है। लोग हल्के वजन वाले गहनों को प्राथमिकता दे रहे हैैं।