वाराणसी (ब्यूरो)जिले के सरकारी व निजी स्कूलों में दसवीं कक्षा तक के विद्यार्थियों का शैक्षिक स्तर राज्य व राष्ट्रीय औसत से काफी बेहतर पाया गया हैदेशभर के एजूकेशन सिस्टम को परखने के लिए कराए गए नेशनल अचीवमेंट सर्वे 2021 में यूपी के बनारस की रिपोर्ट अच्छी आई हैलिट्रेसी के मामले में कानपुर टॉप पर है तो सबसे नीचे बरेली है, लेकिन बनारस तीसरे पायदान पर हैसर्वे से सामने आया कि छात्रों की एवरेज परफॉर्मेंस सुधर रही हैतीसरी क्लास के बच्चे की लर्निंग स्किल दसवीं तक पहुंचते-पहुंचते काफी बढ़ रही है.

परफॉर्मेंस में आया सुधार

स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग ने नवंबर 2021 में नेशनल अचीवमेंट सर्वे कराया थायह सर्वे हर तीन साल में होता हैइससे पहले 2017 में सर्वे हुआ था। 2020 में सर्वे होना था, लेकिन कोरोना की वजह से नहीं हो सकाइसे फिर 2021 में कराया गयाएजुकेशन मिनिस्ट्री की तरफ से जारी सर्वे के नतीजे सभी पेरेंट्स और टीचर्स के लिए राहत देनी वाली हैंबच्चों की प्रगति और सीखने की क्षमता को परखने के लिए यह सर्वे किया जाता हैइसके आधार पर सुधार के लिए काम किया जाता हैइससे पढ़ाई में अंतर को खत्म करने, लैंगिंग, सरकारी व निजी स्तर पर छात्रों की क्षमता व कुशलता का विश्लेषण किया जाता है.

बनारस के विद्यार्थियों का औसतन स्तर 60 अंक

केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय के माध्यम से अखिल भारतीय स्तर पर आयोजित सर्वे में सभी विषयों में जिले के छात्रों ने बेहतर प्रदर्शन किया हैजिले के विद्यार्थियों ने किसी भी विषय में राष्ट्रीय व राज्य औसत से कम अंक हासिल नहीं किए हैंभाषा ज्ञान में राष्ट्रीय औसत 57 था, जबकि राज्य स्तर पर 52 निर्धारित किया गयाजिले के विद्यार्थियों का औसतन स्तर 60 अंक रहाअंग्रेजी में औसतन अंक 49 रहे, जबकि राष्ट्रीय औसत सिर्फ 43 रहागणित में राष्ट्रीय औसत 42 है तो जनपद के विद्यार्थियों ने 44 अंक प्राप्त किए हैंइसी तरह विज्ञान में राष्ट्रीय औसत 37 हैं, जबकि वाराणसी का 40 हैसामाजिक विज्ञान में राष्ट्रीय औसत 38 और जिले का 40 है.

टीचर्स और स्टूडेंट्स का होता है एग्जाम

सेंट्रल गवर्नमेेंट की एजुकेशन मिनिस्ट्री, एनसीईआरटी, सीबीएसई और राज्य सरकारों के साथ मिलकर यह एग्जाम नवबंर में हुआ थाइसमें वाराणसी जिले के करीब 2 सौ स्कूल के क्लास 3, 5, 8 और 10 के स्टूडेंट्स और टीचर्स ने पार्टिसिपेट कियाक्लास 3 और 5 के लिए मैथ्स और ईवीएस का एग्जाम हुआ, तो क्लास 8 के लिए लैंग्वेज, मैथ्स, साइंस और सोशल साइंस की परीक्षा हुईक्लास 10 के लिए लैंग्वेज, मैथ्स, साइंस, सोशल साइंस और इंग्लिश का टेस्ट लिया गया था.

जिले में छात्रों पर भारी पड़ी छात्राएं

शैक्षणिक मूल्यांकन में जिले में गणित, भाषा और पर्यावरण में लड़कियों ने लड़कों से बाजी मारी हैगणित में लड़कों के 56 अंक हैं तो लड़कियों के 58 अंक हैंभाषा में लड़कों के 63 और लड़कियों के 65. पर्यावरण में लड़कों के 58 और लड़कियों ने 60 अंक हासिल किए हैंयह चारों कक्षाओं के विद्यार्थियों के औसत का समग्र प्रदर्शन रहा हैविद्यार्थियों की बेहतर स्थिति पर जिले के प्रशासनिक व शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने खुशी जाहिर की हैकई विद्यालयों ने इसका कारण बिना रुकावट चली ऑनलाइन कक्षाओं को बताया है.

जिला टोटल पॉपुलेशन अर्बन पॉपुलेशन रूरल पॉपुलेशन लिट्रेसी रेटिंग (परसेंट में)

कानपुर 45,81,268 30,15,645 15,65,623 79.65

लखनऊ 45,89,838 30,38,886 15,50,842 77.29

वाराणसी 36,76,841 15,97,051 20,79,790 75.6

मेरठ 34,43,689 17,59,182 16,84,507 72.84

प्रयागराज 59,543,91 14,72,873 44,81,518 72.32

आगरा 44,18,797 20,24,195 23,94,602 71.58

गोरखपुर 44,40,895 8,36,129 36,04,766 70.83

मुरादाबाद 47,72,006 15,73,623 31,98,383 57.77

बरेली 44,48,359 15,68,409 28,79,950 58.49

यह नतीजे बयां कर रहे हैं कि जिले में विद्यार्थियों की पढ़ाई को लेकर शिक्षक व अभिभावक कितने सजग हैकोरोना में स्कूल बंद होने के बावजूद ऑनलाइन कक्षा समेत विभिन्न माध्यमों के जरिए बच्चों को पढ़ाया गयाबच्चों के बेहतर प्रदर्शन को देखते हुए खुशी हो रही है.

दीपक मधोक, अध्यक्ष, पूर्वांचल स्कूल्स वेलफेयर एसोसिएशन