- 10 अगस्त 2017 का मामला, चेतगंज थाने में दर्ज हुआ था मुकदमा

11 माह की मासूम से रेप के मामले में मंगलवार को चार साल बाद न्याय मिल सका। विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट राजेंद्र प्रसाद त्रिपाठी की अदालत ने आरोपी बच्चा राय को आजीवन कारावास और 10 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई। बच्चा राय जौनपुर जिले के जफराबाद क्षेत्र के टेढ़वां गांव का रहने वाला है। जुर्माने की धनराशि में से 8 हजार रुपए बतौर क्षतिपूíत पीडि़ता को देने का आदेश भी दिया गया है।

जौनपुर निवासी वादी रोजाना की तरह 10 अगस्त 2017 को भी अपनी पत्नी और बहन के साथ पत्ता बेचने के लिए वाराणसी के कालीमहाल क्षेत्र में आया था। रात होने पर वह अपने परिवार के सदस्यों के साथ सड़क किनारे ही सो गया। वादी की बहन के साथ उसकी 11 माह की बेटी भी सोयी हुई थी। वहीं तीन बजे भोर में वादी की आंख खुलने पर जब मासूम गायब मिली तो सभी उसकी खोज में लग गए। इसी दौरान समीप की गली से मासूम बच्ची के रोने की आवाज आई। आरोपी बच्चा राय मासूम बच्ची को पैरों से दबाये हुए था। बच्चा राय भागना चाहा, लेकिन उसे पकड़ कर चेतगंज थाने की पुलिस को सौंप दिया गया। चेतगंज थाने में आरोपी के खिलाफ दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर उसे जेल भेज दिया था।

जघन्य अपराध

अदालत ने वादी और मौके पर मौजूद रहे लोगों के बयान और पत्रावलियों का अवलोकन करने के बाद आरोपी बच्चा राय को दोषी पाया। कोर्ट ने बच्चा राय की करतूत को समाज विरोधी जघन्य अपराध करार देते हुए इसके साथ ही बच्चा राय को दोषी पाते हुए उम्रकैद की सजा और जुर्माने से दंडित किया।