वाराणसी (ब्यूरो)। बनारस के आठ सेंटरों में तीन पालियों में पहले दिन की परीक्षा संपन्न हुई। अभ्यर्थियों के मुताबिक कुछ सेक्शन में अधिक प्रश्न पूछे जाने और कुछ सेक्शन के प्रश्न न होने से प्रश्नपत्र का पैटर्न कुछ अटपटा सा लगा। पेपर सरल था इसलिए मेरिट हाई जा सकती है।


तीन पालियों में शुक्रवार को हुई परीक्षा
पहली पाली सुबह 9 से 11 बजे तक। दूसरी पाली दोपहर 12.30 से 2.30 बजे तक, तीसरी पाली शाम 4 से 6 बजे तक चली। परीक्षा तीन दिसंबर तक चलेगी।


इस पर रहा प्रतिबंध
परीक्षा पारदर्शी ढंग से सम्पन्न हो इसके लिए एग्जाम सेंटर पर पुलिस टीम की कड़ी निगरानी रही। किसी भी प्रकार का कोई इलेक्ट्रॉनिक, गैर इलेक्ट्रॉनिक उपकरण परीक्षा हाल में ले जाना बैन था। यहां तक कि पेन, घड़ी व जूता चप्पल पहन कर अंदर जाना मना था। सब कुछ परीक्षा केंद्र के गेट पर लगे काउंटर पर ही जमा कर लिया गया।


इन जिलों के अभ्यर्थियों का था सेंटर
बनारस में प्रयागराज, गोरखपुर, देवरिया और भदोही सहित कई अन्य जिलों के अभ्यर्थियों का सेंटर रहा।

यहां बनाए गए थे सेंटर
- खुशहाल नगर स्थित जेएनएम कॉलेज ऑफ आईटी इंस्टिट्यूट
- शिवपुर स्थित नटिनियादाई मंदिर के पास
- शिवपुर के दादूपर क्रिस्ट नगर स्थित ज्ञान गंगा इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी
- चितईपुर में धर्मवीर कॉलोनी स्थित धनुराम ऑनलाइन टेस्ट एंड कंप्यूटर एप्लिकेशन
- चितईपुर के नासिरपुर रोड स्थित कंप्यूटर इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी
- चितईपुर के सुंदरपुर स्थित एजीएम इंफोटेक, गांधी मेमोरियल स्कूल
- सिगरा के माधोपुर स्थित वीएस इंफोटेक
- महमूरगंज के तीसरी महल रथयात्रा स्थित अल्प्रान सॉफ्टवेयर प्राइवेट लिमिटेड
- चेतगंज के हथुआ मार्केट स्थित आर्य कन्या पीजी कॉलेज


पेपर एवरेज था। हां मूलविधि के प्रश्न थोड़ा छकाने वाले थे। दो तीन प्रश्न ऐसे थे जो यूपी पीसीएस के प्री एग्जाम में भी पूछे गए थे। जैसे यूपीपीसीएस रैंक के अधिकारियों को कौन हटा सकता है। इनको कौन नियुक्त करता है। रिजनिंग में एक प्रश्न अधूरा भी था।
हिमांशु कुमार, गोरखपुर

हिंदी सवालों के स्तर को बढ़ाया गया था। बाकी सब सामान्य था। कुछ सेक्शन से अधिक प्रश्न पूछ गए और कुछ से बिल्कुल ही पूछा नहीं गया। जैसे इनपुट और आउटपुट के प्रश्नों को लेकर हमने काफी तैयारी की थी। उससे प्रश्न ही नहीं पूछे गए। जो पैटर्न हम लोगों को पता था उसके हिसाब से प्रश्नपत्र नहीं था।
उत्तम कुमार, देवरिया


नोटिफिकेशन में जो पैटर्न था, उससे पेपर अलग था, इसमें कुछ अलग रहा। जैसे पैटर्न के हिसाब से मैथ के 40 प्रश्न पूछे जाने चाहिए थे लेकिन उससे कम प्रश्न पूछे गए। मैथ में रिजनिंग के और रिजनिंग सेक्शन में जीएस के प्रश्न पड़े थे। रिजनिंग में ग्राफ का एक प्रश्न अधूरा था। बाकी एग्जाम सामान्य था।
गणपति यादव , प्रयागराज

प्रश्नपत्र में कुछ बिंदु अटपटे थे। जैसे कि हर सेक्शन में पासिंग मार्क लाना अनिवार्य है लेकिन हर सेक्शन में प्रश्न सब घुले मिले थे। इसमें एक चीज अच्छी रही कि हम जिस भाषा में पेपर देना चाहते थे एक बार सेलेक्ट कर लेने में पूरा पेपर उसी भाषा में सेट हो गया। हर प्रश्न में भाषा नहीं बदलनी पड़ती थी।
संदीप कुमार, प्रयागराज


ऑनलाइन एग्जाम देकर अच्छा लगा। रिजनिंग में ग्राफ का एक प्रश्न ऐसा रहा जो अधूरा था। यानी उसका साइज़ इतना बड़ा था कि वह पूरी स्क्रीन पर आया ही नहीं। उसमें तो सभी को नंबर मिलना चाहिए। क्योंकि वह पूरा शो नहीं हो रहा था। सीआरपीसी और आईपीसी से ज्यादा प्रश्न नहीं पूछे गए। रवींद्र कुमार, प्रयागराज


प्रश्नपत्र तो अच्छा था। लेवल सामान्य रहा। हां हिंदी के प्रश्नों का स्तर काफी ऊंचा रहा। इसमें नए तरीके के प्रश्न पूछे गए थे। सिस्टम थोड़ा धीमा होने की वजह से समय काफी बर्बाद हो गया। मैथ और रिजनिंग तो ठीक रही लेकिन सामान्य विज्ञान के कुछ प्रश्न काफी कठिन रहे। 400 अंको की परीक्षा के लिए 160 प्रश्न पूछे गए थे।
आकाश यादव, भदोही