- नगर आयुक्त ने स्वास्थ्य का हवाला देकर स्थिति संभालने का प्रयास किया

- मिनी सदन में वर्ष 2021-22 पुनरीक्षित बजट पर होनी थी चर्चा

- अब 27 जनवरी की बैठक में होगी चर्चा

मिनी सदन में शनिवार को नगर निगम के वर्ष 2021-22 की पुनरीक्षित बजट पर चर्चा होनी थी। सुबह ठीक 11 बजे मेयर मृदुला जायसवाल की अध्यक्षता में चर्चा की तैयारी पूरी हो गई, लेकिन नगर आयुक्त के नहीं पहुंचने से चर्चा की कार्यवाही रुकी रही। पूरा सदन नगर आयुक्त का इंतजार कर रहा था। इसी बीच 11 बजकर 10 मिनट पर जैसे ही नगर आयुक्त गौरांग राठी सदन में पहुंचे तो मेयर ने लेट आने पर नाराजगी जताई और कारण पूछा। इसपर नगर आयुक्त ने स्वास्थ्य का हवाला देकर स्थिति संभालने का प्रयास किया, लेकिन पार्षदों ने इसे सदन की अवहेलना बताया। इस पर कुछ पार्षदों ने शोर-शराबा मचाया। हालांकि पार्षद संजय सिंह के निधन के चलते शोक सभा के बाद चर्चा स्थगित कर दी गई। अब 27 जनवरी को बजट पर चर्चा होगी।

अधिकारी ने अवगत नहीं कराया

टाउनहॉल स्थित मिनी सदन में शनिवार को वर्ष 2021-22 की पुनरीक्षित बजट पर चर्चा के लिए मेयर और पार्षद समय से पहले पहुंच गए थे। सदन की मुहर लगने के बाद ही बजट लागू करने का नियम है, लेकिन नगर आयुक्त गौरांग राठी समय पर नहीं पहुंचे। इस पर मामला और गरमा गया। मेयर और पार्षदों की नाराजगी पर नगर आयुक्त ने सफाई दी कि लेट होने की वजह से सदन को अवगत कराने के लिए अपर नगर आयुक्त से कहा था। अगर उन्होंने नहीं अवगत कराया तो इस संबंध में उनसे पूछा जाएगा।

आईएएस की तैनाती की मांग की थी

सूत्रों की मानें तो मेयर और नगर आयुक्त में किसी बात को लेकर तनातनी चल रही है। नगर आयुक्त की कार्य प्रणाली पर मेयर ने कई बार सवाल उठाये हैं। कुछ दिन पहले वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए नगर विकास मंत्री आशुतोष टंडन और प्रमुख सचिव ने मेयर मृदुला जायसवाल और नगर आयुक्त गौरांग राठी से विकास कार्यो के बारे में जानकारी मांगी थी। इस दौरान मेयर ने वाराणसी में संचालित स्मार्ट सिटी परियोजना के लिए अलग से एक आईएएस की तैनाती की बात कही थी। इस पर प्रमुख सचिव ने कहा कि नगर आयुक्त ही स्मार्ट सिटी का काम देखेंगे।