-हरियाणा के मेवात यूपी के मथुरा और राजस्थान के भरतपुर के बीच की लोकेशन का साइबर क्रिमिनल कर रहे इस्तेमाल

-साइबर क्राइम के इस ब्लैक स्पॉट से 70 परसेंट से ज्यादा साइबर फ्रॉड के मामले आ रहे हैं सामने

देहरादून,

साइबर क्रिमिनल अब एक नहीं तीन स्टेट के बॉर्डर एरिया से लोगों को झांसे में लेकर फ्रॉड कर रहे हैं। जो कि साइबर क्राइम का ब्लैक स्पॉट बन गया है। यह इलाका तीन अलग-अलग स्टेट के बॉर्डर से घिरा एरिया है। ये तीनों इलाके एक दूसरे के काफी आसपास हैं और इनके बीच के सुनसान जगह, जंगल या पहाड़ी में रहकर साइबर क्रिमिनल देशभर में ठगी कर रहे हैं। साइबर क्राइम के इस ब्लैक स्पॉट से 70 परसेंट से ज्यादा साइबर फ्रॉड के मामले सामने आ रहे हैं।

तीन लोकेशन के बीच का करते हैं इस्तेमाल

हरियाणा का नूंह (मेवात), यूपी का मथुरा और राजस्थान का भरतपुर इसमें शामिल है। इन तीनों इलाकों के बीच के एरिया में जो मोबाइल टावर की रेंज है वही ब्लैक स्पॉट एरिया बना हुआ है। साइबर एक्सपर्ट बताते हैं कि अगर तीनों के बीच वाली जगह से कोई फोन करता है तो ये पता कर पाना मुश्किल है कि अपराधी किस राज्य में रहकर घटना को अंजाम दे रहा है। इन तीनों एरिया के बीच में पहाडि़यां और जंगल भी हैं। ऐसे में साइबर क्रिमिनल की असली लोकेशन का पता लगाकर पकड़ना पुलिस के लिए भी आसान नहीं है। यहां जो भी गैंग सक्रिय हैं वे साइबर क्राइम को अंजाम दे रहे हैं। गिरोह के मेंबर फेसबुक पर नकली प्रोफाइल बनाकर पैसे मांगते हैं या ओएलएक्स पर सामान बेचने या खरीदने के नाम पर खुद को आर्मी का बताकर फ्रॉड करते हैं। इनके अलावा ट्रयूकॉलर से किसी का भी नंबर निकालकर उसका कोई पुराना दोस्त होने का बहाना बनाकर पैसे मांगने या उसके खाते में जमा कराने के नाम पर क्यूआर कोड भेजकर ठगी करते हैं।

ब्लैक स्पॉट से दो शातिर क्रिमिनल अरेस्ट

वेडनसडे को साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन की टीम ने ब्लैक स्पॉट एरिया के भरतपुर राजस्थान से 2 साइबर ठगों को दबोचा है। पकड़े गए आरोपियों की पहचान राहुल उम्र करीब 24 वर्ष और सलमान उम्र करीब 25 वर्ष दोनों मेव जाति के जिला भरतपुर राजस्थान के रहने वाले हैं। शातिर ठग ओएलएक्स के जरिए गैंग बनाकर भारतीय सेना में नियुक्त होने की बात कहकर ओएलएक्स के माध्यम से सामान बेचने के नाम पर फ्रॉड करते हैं।

कार बेचने के नाम पर 1.43 लाख ठगे

एसटीएफ के एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि ऋषिकेश निवासी सोहन सिंह ने साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन को कंप्लेन की, जिसमें उन्होंने ओएलएक्स पर एक कार का विज्ञापन देखकर उसे खरीदने के लिए दिए गए मोबाइल नम्बर पर सम्पर्क किया गया। तो सामने वाले व्यक्ति ने खुद को भारतीय सेना में बताते हुये कंप्लेनर को भारतीय सेना का पहचान पत्र आदि दिखाकर झांसे मे लेकर कार बेचने के नाम पर रुपये 1.43 लाख की धोखाधड़ी कर दी। पीडि़त की कंप्लेन पर साइबर स्टेशन पर कंप्लेन दर्ज की गई। इसके बाद टीम द्वारा मोबाइल नंबर व जिन अकाउंट में पैसे ट्रांसफर किए गए, उनकी डिटेल खंगाली गई। मोबाइल नंबर व बैंक अकाउंट राजस्थान के मेवात क्षेत्र का पाया गया। पुलिस टीमें राजस्थान रवाना की गई जहां से दो आरोपियों को अरेस्ट किया गया।

बेचने वाले के डॉक्यूमेंट लेकर फर्जी आईडी से करते थे ठगी

एसटीएफ के एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि ओएलएक्स पर सामान बेचने के नाम पर अकाउंट में सेंध लगाकर ठगी करने वाले गिरोह के सरगना व उसके सहयोगी को राजस्थान राज्य के मेवात क्षेत्र से अरेस्ट किया गया है। अजय सिंह ने बताया कि यह क्षेत्र जामताड़ा झारखंड के तर्ज पर राजस्थान, यूपी और हरियाणा के बॉर्डर साइबर क्राइम का गढ़ बनता जा रहा है। जो कि ओएलएक्स पर आर्मी वालों के द्वारा अपने वाहन बेचने के लिए डाले गये असली विज्ञापन को सर्च कर उनसे ग्राहक बनकर बात कर व्हाट्सएप चैट सें उनके असली आईडी, कैंटीन स्मार्ट कार्ड, वाहन की फोटो, रजिस्ट्रेशन व इंश्योरेंश आदि जरूरी सभी डॉक्यूमेंट को डाउनलोड करके दूसरे मोबाइलों से असली डॉक्यूमेंट के आधार पर ओएलएक्स में अपनी फर्जी आईडी बनाकर विज्ञापन डालकर उसमें अपना मोबाइल नंबर लिख देते हैं। इसके बाद जरूरतमंद लोगों के द्वारा उनसे संपर्क करने पर शातिर ठग लोगों को सस्ते में वाहन बेचने के नाम पर अपने झांसे में लेकर ऐसे लोगों से धोखाधड़ी कर वाहन की डिलीवरी देने, पार्सल चार्ज आदि अलग अलग बहानों से पैसा पेटीएम खातों में डलवा देते हैं। इसके बाद अपने परिचितों के बैंक अकाउंट में ट्रांसफर कर एटीएम से विदड्रॉल कर आपस में बांट लेते हैं।

-हरियाणा के मेवात यूपी के मथुरा और राजस्थान के भरतपुर के बॉर्डर एरिया बना ब्लैक स्पॉट

-70 परसेंट फ्रॉड के मामले आ रहे इसी लोकेशन से

-तीनों स्टेट की लोकेशन होने की वजह से पुलिस को नहीं मिलता है सही क्लू

-ओएलएक्स के जरिए ठगी करने के अलावा फेसबुक पर दोस्ती करने और परिचित बनकर भी करते हैं फ्रॉड

-ट्रयूकॉलर की मदद से भी लोगों की डिटेल निकालकर लगाते हैं चूना