पुरानी सीमेंट की लाइन बदलने का प्रपोजल एक्सेप्ट

स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत हो सकेंगे काम

देहरादून।

शहर में हो रही पानी की बर्बादी काफी हद तक रुक सकेगी। जल संस्थान की साउथ डिविजन के 3 टयूवबेल्स का 4 हजार एलपीएम पानी बर्बाद हो रहा है। सीमेंट की पुरानी लाइनें होने की वजह से ये दिक्कत हो रही है। आखिरकार स्मार्ट सिटी के तहत प्रपोजल एक्सेप्ट कर लिया गया है और जल्द ही उपभोक्ताओं को भरपूर पानी मिल सकेगा।

इन टयूबवेल्स का मिलेगा पूरा पानी

नेहरू कॉलोनी आई ब्लॉक के दो ट्यूबवेल्स और संजय कॉलोनी के एक ट्यूबवेल का पानी पूरी तरह से सर्वे चौक तक नहीं पहुंच पाता था। दरअसल इन ट्यूबवेल्स से करीब 7 हजार एलपीएम पानी सर्वे चौक के लिए भेजा जाता है लेकिन 30 साल पुरानी सीमेंट की लाइन होने की वजह से करीब 4 हजार एलपीएम पानी ही यहां तक पहुंच पाता है। वहीं तिब्बती मार्केट के पास की लाइन से पानी कई इलाकों में जाता है लेकिन यहां भी जगह-जगह लीकेज होने की वजह से 1 हजार एलपीएम से अधिक पानी की बर्बादी हो जाती है।

लंबे समय से कर रहे थे प्रयास

ऐसे में जल संस्थान की ओर से लंबे समय से ये प्रयास किया जा रहा था कि इन लीकेज वाली सीमेंट की पुरानी लाइनों को बदला जा सके। हालांकि एडीबी की ओर से भी इन लाइनों का प्रपोजल एक्सेप्ट नहीं किया गया था। जबकि अधिकतर क्षतिग्रस्त इन लाइनों को बदलने की बेहद जरूरत है। जल संस्थान की ओर से अलग से भी बजट की व्यवस्था करने का प्रयास किया गया जो कि सफल नहीं रहा।

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अब हो सकेगा काम

जल संस्थान की ओर से स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट में सीमेंट की पाइपलाइन बदलने का प्रोजेक्ट शामिल कराने के लिए काफी प्रयास किए गए। जल संस्थान की ओर से बताया गया कि लाइन काफी पुरानी है। लीकेज के साथ ही पानी की बर्बादी हो रही है। साथ ही गंदा पानी पहुंचने की भी शिकायत इसकी वजह से बनी रहती है। आखिरकार स्मार्ट सिटी में प्रपोजल एक्सेप्ट कर लिया गया।

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स्मार्ट सिटी में प्रपोजल एक्सेप्ट हो गया है। जल्द लीकेज की वजह से हो रही पानी की बर्बादी रुक सकेगी।

- एके गुप्ता, एई, जल संस्थान