- वर्किंग वुमेन हॉस्टल के लिए एप्लीकेंट्स ही नहीं

देहरादून।

बेहद जोर-शोर के साथ सरकार की ओर से वर्किंग वुमेन हॉस्टल की शुरुआत दून में की गई। लेकिन, इसके लिए पर्याप्त प्रचार-प्रसार नहीं किया गया। यही वजह है कि हॉस्टल तैयार होने के बाद भी यहां आवेदकों का टोटा है। दस दिन में मात्र पांच आवेदन हॉस्टल के लिए पहुंचे हैं।

इनॉग्रेशन के 4 माह बाद शुरू

दून में बने वीरांगना तीलू रौतेली कामकाजी महिला छात्रावास का इनॉग्रेशन 8 अगस्त को कर दिया गया था। लेकिन इसकी शुरुआत चार माह बाद हो पाई। अब वेबसाइट पर आवेदन मांगने के 10 दिन बीत जाने के बाद भी आवेदन नहीं आ रहे हैं। जबकि महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास विभाग की ओर से पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर रूम अलॉट किए जाएंगे।

ये भी कमी

वहीं हॉस्टल बनने के बाद भी विभाग की ओर से इस दिशा में कोई खास प्रचार-प्रसार होता नहीं दिख रहा है। सर्वे चौक के समीप स्थित हॉस्टल के बारे में अधिकतर लेडीज को जानकारी ही नहीं है।

विभाग की ओर से ऑनलाइन आवेदन लिए जा रहे हैं। पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर रूम अलॉट किए जाएंगे।

- एके मिश्रा, जिला कार्यक्रम अधिकारी, महिला एवं बाल विकास विभाग