- साक्षी सुरक्षा सेल के गठन से मिल सकेगी मदद

- जोन में 45 लोगों को मिली पुलिस की सिक्योरिटी

GORAKHPUR: गंभीर मुकदमों में गवाही देने वाले सरकारी गवाहों को प्रशासन की तरफ से सुरक्षा मिलेगी। साक्षी सुरक्षा सेल का गठन करके गवाहों की सिक्योरिटी से संबंधित समीक्षा की जाएगी। किसी तरह का खतरा महसूस होने पर येलो कार्ड दिखाकर तत्काल गवाह पुलिस की सुरक्षा मांग सकेंगे। लखनऊ में शुरू हुई कवायद के बाद गोरखपुर में भी यह प्रक्रिया अपनाई जाएगी। हालांकि जोन में मर्डर, मर्डर की कोशिश, रेप, छेड़खानी सहित अन्य संगीन अपराधों के 45 चश्मदीदों को पुलिस की सुरक्षा मिल रही है। एसएसपी ने बताया कि गवाहों को मिलने वाली सुरक्षा की समीक्षा की जाती है। समय-समय पर इसमें बदलाव किए जाते हैं।

सुप्रीम कोर्ट का आदेश, दिया जाएगा येलो कार्ड

क्राइम में शामिल बदमाशों को अरेस्ट करके पुलिस जेल भेज देती है। लेकिन उनको सजा दिलाने का काम सरकारी वकीलों का है। मुकदमे में सरकारी गवाहों की अहम भूमिका होती है। संगीन मामलों में गवाहों को प्रताड़ना झेलनी पड़ती है। उनको होस्टाइल करने की कोशिश की जाती है। यदि वे नहीं मानें तो मौत के घाट उतार दिया जाता है। इसको देखते हुए सुप्रीम कोर्ट ने साक्षी सुरक्षा योजना को लागू करने का आदेश दिया था। इसलिए साक्षी सुरक्षा सेल का गठन किया गया है। सुरक्षा सेल के जरिए पेंडिंग मुकदमों में आरोपियों के खिलाफ गवाही देने वाले सरकारी गवाहों को येलो कार्ड दिए जाएंगे। अगर मुकदमों का आरोपी धमकी देगा या फिर उनको नुकसान पहुंचाया तो गवाह कार्ड दिखाकर सुरक्षा ले सकेंगे।

साक्षी सुरक्षा योजना का उद्देश्य

- गवाह को बदले की कार्रवाई, डर के बिना कोर्ट और पुलिस के सामने गवाही देने में समर्थ बनाना

- यह सुनिश्चित करना कि मुकदमों की सुनवाई के दौरान गवाहों को धमकाए जाने से प्रक्रिया प्रभावित न हो।

- आपराधिक मामलों में अभियुक्तों के खिलाफ पुलिस की मदद करने वालों को भी सरकारी सुरक्षा दी जाएगी।

- गवाहों का भरोसा बढ़ाते हुए निडर होकर गवाही के लिए प्रेरित करना, परिवार और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना।

जोन में 45 गवाहों को सुरक्षा दे रही पुलिस

गोरखपुर जोन में विभिन्न आपराधिक मामलों के 45 गवाहों को सुरक्षा दी जा रही है। इनमें तिहरे और चौहरे मर्डरकांड के गवाह शामिल हैं। झंगहा एरिया में एक ही परिवार के चार लोगों की हत्या करके फरार चल रहे एक लाख के ईनामी राघवेंद्र ने पूरे परिवार को खत्म करने की धमकी दी है। इसलिए ऐसे मामलों के गवाहों को सुरक्षा दी जा रही है। साक्षी सुरक्षा योजना में जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अध्यक्षता में एक कमेटी बनी है। इस कमेटी में जिला पुलिस प्रमुख और जिला अभियोजन प्रभारी भी शामिल हैं।

इतने गवाहों को दी गई सुरक्षा

गोरखपुर 5

बहराइच 17

देवरिया 1

गोंडा 12

श्रावस्ती 10

वर्जन

गंभीर मामलों के कुछ गवाहों और पीडि़तों को पुलिस की सुरक्षा दी गई है। इसकी समीक्षा की जाती है। जांच रिपोर्ट के आधार पर इसे घटाया और बढ़ाया जा सकता है। हर मामले में अभियुक्तों की सजा सुनिश्चित कराने के लिए अहतियाती कदम उठाए जाते हैं।

- डॉ। सुनील गुप्ता, एसएसपी