ऐसी प्रॉŽलम सिर्फ गल्र्स ही फेस नहीं करतीं
यह बात सही है कि किसी भी शादी में दुल्हन सेंटर ऑफ अट्रैक्शन होती हैं। पर दूल्हे को भी कहां अच्छा लगेगा अगर इस खास ओकेजन पर उनकी बॉडी फिट न हो। उन्हें भी ऑकवर्ड फील होगा जब स्लिम पार्टनर के सामने उनकी बॉडी पर फैट चढ़ा हो। संख्या कम भले हो पर शादी से पहले खुद को फिट रखने के लिए लडक़े भी जिम की तरफ रुख कर रहे हैं। फिटनेस वल्र्ड के इंस्ट्रक्टर रवि का कहना है कि जिम में मैरेज सीजन स्टार्ट होते ही कपल्स की संख्या नॉर्मल डेज के कंपैरिजन में करीब 40 परसेंट बढ़ जाती है। इनमें गल्र्स और Žवॉयज का रेशियो 70:30 का होता है।

6-7 केजी वेट कम हो जाता है
सिटी स्थित वीएलसीसी की सेंटर इंचार्ज शशि बेरा का कहना है कि मैरेज सीजन स्टार्ट होने पर उनके पास आम दिनों के कंपरेजिन में 40-50 परसेंट लोगों की संख्या बढ़ जाती है। उन्होंने कहा कि ये सभी शादी को लेकर खुद को फिट रखने की चाहत से यहां आते हैं। शशि बेरा ने बताया कि उनके यहां दो-तीन महीने का फैट लॉस ट्रीटमेंट कोर्स चलाया जाता है। यह कोर्स इन्हीं लोगों को ध्यान में रखकर कराया जाता है। उन्होंने कहा कि टमी का फैट पूरी तरह से खत्म हो जाता है। इसके अलावा इस कोर्स को करने से 6-7 केजी वेट कम किया जा सकता है।

5 से 15 हजार रुपए करते हैं खर्च
शादी में स्मार्ट दिखना है तो खर्च तो करने होंगे न। जिम में एक्सरसाइज करने की बात हो या प्राइवेट स्लीमिंग सेंटर्स में फैट लॉस ट्रीटमेंट। यहां पहुंचने वालों को दो से तीन महीने के लिए 5 से 15 हजार रुपए खर्च करने होते हैं। शादी का सीजन शुरू होने के दो से तीन महीने पहले सिटी के जिम और फैट लॉस ट्रीटमेंट कराने वालों की बढ़ती भीड़ से यह साबित होता है कि इनके लिए फिट होना ज्यादा मायने रखता है।

लेट मैरेज भी है बड़ा कारण
कॅरियर को सही मुकाम तक पहुंचाने में आज के यूथ इतना समय दे देते हैं कि वे दूसरी इंपॉर्टेंट बातों पर ध्यान नहीं देते। गल्र्स हों या Žवॉयज वे फस्र्ट प्रायोरिटी कॅरियर को ही दे रहे। यही वजह है कि उनकी शादी में लेट होता है। कॅरियर काउंसलर पीके सिंह कहते हैं कि उनके पास कॅरियर को लेकर एडवाइस लेने के लिए आने वालों में लगभग 50 परसेंट लोग 30 साल से ज्यादा एज के होते हैं। वीएलसीसी की सेंटर इंचार्ज शशि बेरा ने कहा कि एक एज के बाद गल्र्स का फेस भी चेंज होने लगता है और उनकी बॉडी पर फैट भी दिखने लगता है। उन्होंने कहा कि 30 से ज्यादा एज में गल्र्स और Žवॉयज दोनों में ऐसा देखा जाता है।


मैरेज सीजन स्टार्ट होने के बाद जिम में लोगों की भीड़ बढ़ जाती है। वैसे गल्र्स और Žवॉयज की संख्या काफी होती है जिनकी शादी होने वाली होती है। ये सिर्फ शादी तक ही जिम ज्वॉइन करते हैं।
-रवि कुमार इंस्ट्रक्टर फिटनेस वल्र्ड


मैरेज सीजन स्टार्ट होते ही हमारे यहां फैट लॉस ट्रीटमेंट के लिए काफी संख्या में गल्र्स और Žवॉयज आते हैं। नॉर्मल डेज के कंपैरिजन में इनकी संख्या 40 परसेंट तक बढ़ जाती है। इनमें 70 परसेंट गल्र्स और 30 परसेंट Žवॉयज होते हैं।
- शशि बेरा, सेंटर इंचार्ज, वीएलसीसी जमशेदपुर

आज के यूथ कॅरियर को फस्र्ट प्रायोरिटी देते हैं। उनके लिए शादी कॅरियर के बाद आता है। यही वजह है कि उनकी शादी लेट होती है। मेरे पास कॅरियर काउंसलिंग के लिए आने वालों में लगभग 50 परसेंट 30 साल से ज्यादा एज के यूथ होते हैं।
- पीके सिंह, कॅरियर काउंसलर

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