- क्लीन सिटी की बेहतर रैंकिंग के लिए एक्शन में नगर निगम

PATNA :

स्वच्छता रैंकिंग में पटना की रैंकिंग सुधारने को पटना नगर निगम अपनी तरफ से पूरा जोर लगा रहा है। शहर के प्रमुख सड़कों और चौक-चौराहों पर शहर को साफ-सुंदर रखने के लिए पटनाइट्स से भी अपील की जा रही है। बता दें कि वर्ष 2020 की स्वच्छता रैंकिंग में पटना निचले पायदान पर चला गया था। अब इस दाग को धोने के लिए पटना नगर निगम इस बार पूरी तैयारी में जुट गया है। वॉल पेंटिंग से संवर रही पटना की दीवार कहीं पिछली बार की तरह बदरंग न हो जाए, इसको लेकर पार्षद थोड़े परेशान दिख रहे हैं। हालांकि अधिकारियों की मानें तो इस बार पेंटिंग की क्वालिटी को लेकर वे लोग सतर्क हैं।

हो रहे कई काम

एक तरफ सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट के तहत कूड़ा उठाव और उसके ट्रीटमेंट के लिए बनी योजनाओं पर काम किया जा रहा है वहीं दूसरी तरफ पेंटिंग के माध्यम से शहर को चकाचक किया जा रहा है। वॉल पर स्वच्छता सर्वे, शहर की ब्यूटी हमारी ड्यूटी जैसे स्लोगन के साथ नगर निगम की तरफ से शहर में वॉल पेंटिंग कराई जा रही है। लेकिन इस पेंटिंग का हाल मिथिला सह मगध की तरह न हो, इसको लेकर वार्ड पार्षदों इनकी देखरेख के लिए उपाय करने की बात कह रहे हैं।

सभी वार्ड में होगी पेंटिंग

स्वच्छता सर्वे के लिए शहर के सभी वार्डो में वॉल पेंट करने की योजना बनी है। मुख्य सड़कों पर पेंटिंग नजर भी आने लगी है। इस काम में मुख्यालय से लेकर अंचल कार्यालय तक सम्मिलित रूप से काम कर रहा है। जो कलाकार पेंटिंग में स्पेशलिस्ट हैं वे सीधे निगम मुख्यालय या अंचल कार्यालय में आवेदन देकर इससे जुड़ सकते हैं।

कलाकारों के लिए सुविधा

पटना नगर निगम ने इस बार कलाकारों को ही पेटिंग लाने और काम की जिम्मेदारी दी है। कोई टेंडर नहीं निकाला गया है बल्कि कलाकार सीधे आकर आवेदन दे सकते हैं। निगम की तरफ से 25 से 27 रुपए वर्गफीट के आधार पर ये काम दिया जा रहा है जिसमें पेंट कलाकारों को ही लेकर आना है। ये रेट सभी अंचल के लिए है। कलाकारों को इसी आधार पर पेमेंट किया जाएगा।

बदरंग हुई मधुबनी पेटिंग

2018 में मिथिला के पारंपरिक चित्रकारों ने छह महीने के मेहनत के बाद पटना के अलग-अलग इलाकों के दीवारों और प्रमुख स्थानों पर मधुबनी पेंटिंग बनाई थी। मगर पेंटिंग वर्क समाप्त होने के 6 महीने बाद ही अपनी सुंदरता खोने लगे। पटना नगर निगम क्षेत्र में 6 लाख वर्ग वर्गफीट क्षेत्रफल में छह करोड़ की लागत से बनी मधुबनी पेंटिंग देखरेख के अभाव और क्वालिटी में कमी होने से छह महीने बदरंग हो गई।

12 सौ स्थानों पर बनी थी पेंटिंग

पटना में 1200 स्थानों पर छह लाख वर्ग फीट क्षेत्रफल में मधुबनी पेंटिंग बनाई गई थी। पेंटिंग बनाने का काम विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से कलाकारों ने किया था। जिसके तहत 1000 वर्गफीट तक पेंटिंग करने पर 150 रुपए प्रति वर्गफीट, 1000 से 3000 वर्गफीट के लिए 140 रुपए प्रति वर्गफीट, 3000 से 5000 वर्गफीट के लिए 120 रुपए प्रति वर्गफीट और 5000 से अधिक की पेंटिंग के लिए 100 रुपए प्रति वर्गफीट पेमेंट किया था।

वर्जन

एक बड़ा स्मार्ट सिटी का एरिया मेरे वार्ड में आता है। निगम का पेंटिंग का खर्च बिल्कुल बेकार था। अब भी पटनाइट्स को बेहतर सफाई की जरूरत है न कि पेंटिंग की।

विनय कुमार पप्पू, पार्षद, वार्ड 28

कलाकारों से बेहतर प्रोडक्ट का इस्तेमाल करने के लिए निर्देश दिए गए है। पेंट की क्वालिटी अच्छी है और इसके मेंटेनेंस का जिम्मा भी कलाकारों का ही होगा।

हिमांशु शर्मा, नगर आयुक्त, पटना नगर निगम