-कोरोना से माता-पिता दोनों को गंवाने वाले अनाथ बच्चों को अब बिहार सरकार करेगी मदद, सीएम ने ट्वीट कर दी जानकारी

PATNA: कोरोना से अनाथ हुए बच्चों को अब सरकार हर मंथ 1500 रुपए देगी। माता-पिता दोनों गंवाने वाले बच्चों को बिहार सरकार प्रति माह डेढ़ हजार रुपए देगी। बाल सहायता योजना के अंतर्गत 18 वर्ष की उम्र तक उन्हें यह आर्थिक मदद मिलती रहेगी। सीएम नीतीश कुमार ने संडे को ट्वीट कर इसकी जानकारी दी। योजना में यह भी प्रावधान है कि माता-पिता में से किसी एक को गंवाने वाले नाबालिग को भी यह सहायता मिलेगी। सीएम ने ट्वीट में बताया है कि अनाथ हुई बच्चियों का कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालय में प्राथमिकता पर एडमिशन कराया जाएगा। जिन अनाथ बच्चों के पेरेंट्स नहीं हैं, उनकी देखरेख बालगृह में होगी।

नई योजना में जुड़ेगा नाम

कोरोना काल में अनाथ हुए बच्चों को पूर्व में समाज कल्याण विभाग ने परवरिश योजना से जोड़ा था। इस योजना के तहत प्रति माह एक हजार रुपए दिए जाने का प्रावधान है। अब तक ऐसे 43 बच्चों को चिह्नित किया गया था। समाज कल्याण विभाग से मिली आधिकारिक जानकारी के अनुसार अब इन बच्चों के नाम बाल सहायता योजना से जोड़ दिए जाएंगे। परवरिश योजना से इनके नाम हटा दिए जाएंगे।

बच्चों के नाम से खुलेगा अकाउंट

समाज कल्याण विभाग के संबंधित अधिकारी ने बताया कि जिन बच्चों को इस योजना का लाभ दिया जाना है, उनके नाम से बैंक खाता खुलेगा। इसकी प्रक्रिया भी आरंभ किए जाने का निर्देश दे दिया गया है। बच्चों के बैंक खाते में योजना के तहत मिलने वाली राशि स्थानांतरित की जाएगी। कैबिनेट की मंजूरी मिलते ही योजना का मामला आगे बढ़ेगा। ताकि बच्चों को मजबूरी में इधर-उधर भटकना नहीं पड़े।

सभी अनाथ बच्चों को लाभ

अगर एक परिवार में एक से अधिक बच्चे अनाथ होते हैं तो उनमें सभी को बाल सहायता योजना का लाभ मिलेगा। स्थानीय स्तर पर इसका सत्यापन भी कराया जाएगा। पूर्व से जिन बच्चों केमाता या पिता दोनों में से किसी एक की मौत हो चुकी है व कोरोना काल में उनकी भी मौत हो गई जो बचे थे, ऐसे अनाथ बच्चों को प्रति माह डेढ़ हजार रुपये मिलेंगे। यह मदद 18 वर्ष की उम्र तक दी जाएगी। केंद्रीय योजना का भी मिलेगा लाभ समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि कोरोना काल में अनाथ हुए बच्चों के लिए केंद्र सरकार ने भी अपनी योजना की घोषणा की है।

सीएम बोले, क्षतिग्रस्त पुल और पुलिया 15 जून तक करें दुरुस्त

इधर संडे को सीएम नीतीश कुमार ने बाढ़ की तैयारियों के संबंध में जन प्रतिनिधियों से मिले सुझावों पर वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक की। इस क्रम में उन्होंने कहा कि बाढ़ को लेकर सभी अधिकारी पूरी तरह सचेत रहें, ताकि किसी भी परिस्थिति से निपटा जा सके। उन्होंने निर्देश दिया कि क्षतिग्रस्त हुई सड़कों व पुल-पुलियों के पुनस्र्थापन को प्राथमिकता के साथ 15 जून तक पूरा करें। बाढ़ सुरक्षा को ले बचे हुए सभी कटाव निरोधक व बाढ़ सुरक्षात्मक काम को जल्द पूरा करें।

बाढ़ से बचाव के दिए सुझाव

मुख्यमंत्री ने कहा कि सांसदों, विधान पार्षदों व विधायकों के साथ जल संसाधन, पथ निर्माण, लघु जल संसाधन व ग्रामीण कार्य विभागों की बैठक प्रमंडलवार हुई थी। जनप्रतिनिधियों ने बाढ़ से बचाव की तैयारियों को लेकर महत्वपूर्ण सुझाव दिए हैं। उन सुझावों से बाढ़ से बचाव की तैयारियों में काफी सहूलियत होगी। भावी योजनाओं के निर्माण में भी मदद मिलेगी। सभी विभाग जनप्रतिनिधियों के सुझाव को ध्यान में रख काम करें। सभी सड़कों व पुलों का रखरखाव करें। यह सुनिश्चित किया जाए कि सभी निर्माण कार्य गुणवत्तापूर्ण हों। ताकि लोगों को परेशानी न हो।