420 माक्र्स पर होगा सेलेक्शन

नीट में फिजिक्स, केमेस्ट्री और बायोलॉजी मिलाकर टोटल 720 माक्र्स के क्वेश्चन पूछे गए। एक्सपर्ट की मानें तो इसमें सेलेक्शन 420 से 435 के बीच स्कोर लाने वाले स्टूडेंट्स का होगा। इन्हें एमबीबीएस कॉलेज मिलने की पूरी संभावना होगी। क्योंकि फिजिक्स और केमेस्ट्री में भले एनसीईआरटी को कम टच किए गए हों, बायोलॉजी में पूरी तरह एनसीईआरटी को प्रिफरेंस दिया गया है। हालांकि पिछले साल की तुलना में हर सब्जेक्ट में 10 परसेंट क्वेशचन पूरी तरह न्यू पैटर्न से रहे और इन्हीं के आंसर पर ही सेलेक्शन होगा।

26 सेंटर पर हुए exam

बिहार में तीन शहरों में नीट के लिए सेंटर बनाए गए थे। इसमें सबसे अधिक 26 सेंटर पटना में थे। इसके अलावा मुजफ्फरपुर में 5 और गया में 2 सेंटर थे। इस संबंध में सीबीएसई के रीजनल ऑफिसर एसयू सोरटे ने बताया कि एग्जाम शांति पूर्ण रहा। सुबह 10 बजे से 1 बजे तक चले एंट्रेंस टेस्ट में पास होने वाले कैंडिडेट्स का मेडिकल कॉलेजों में डायरेक्ट एडमिशन होगा। एग्जाम में पूरे बिहार से 25 हजार कैंडिडेट्स शामिल हुए।

फिजिक्स में 45 माक्र्स के क्वेशचन पूछे गए जिसमें 30 क्वेशचन सॉल्व किए होंगे, उनके सेलेक्शन के चांसेज हैं। 12वीं के सिलेबस को अधिक टच किया गया था। लास्ट इयर की अपेक्षा इस साल क्वेश्चन थोड़ा टफ रहा।

रोहित श्रीवास्तव, फिजिक्स एक्सपर्ट, मेडिकल कोचिंग इंस्टीच्यूट

बायो में एनसीईआरटी से क्वेश्चन थे लेकिन केमेस्ट्री में ऐसा नहीं था। स्टूडेंट्स को इन क्वेशचंस में प्रॉब्लम आई। केमेस्ट्री में 11वीं और 12वीं दोनों के सिलेबस को लिया गया था।

नीरज कुमार, केमेस्ट्री एक्सपर्ट, मार्गदर्शन

फिजिक्स की तैयारी अच्छी थी लेकिन सबसे खराब गया। क्वेश्चन आब्जेक्टिव थे लेकिन आंसर टफ रहे। कई क्वेश्चन तो देख भी ना सकी।

नंदिता, गायघाट

फिजिक्स में मुश्किल हुई, बायो बढिय़ा था। लेंदी क्वेश्चन थे और टाइम मैनेजमेंट परफेक्ट नहीं रहा। एनसीईआरटी से कम क्वेश्चन थे।

यशी, पटना सिटी

बायो अच्छा गया। कुछ क्वेशचन को छोड़ दें तो एनसीईआरटी ही अधिक टच किया गया था। लेकिन फर्मूला बेस्ड क्वेश्चन कम थे।

समीर, कंकड़बाग

एग्जाम जैसा सोचा था वैसा नहीं गया। फिजिक्स में लेंदी क्वेशचन थे। बायो सही रहा। फिजिक्स-केमेस्ट्री में कांसेप्ट बेस्ड अधिक क्वेशचन थे।

शुभमय, बोरिंग रोड

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