PATNA: आखिरकार लाख कोशिशों के बाद भी हुडको अपने सालाना टारगेट के अनुरूप बकायेदारों से कर्जा वसूल नहीं कर पाया है। कारोबार और मल्टी प्लैक्स बिल्डिंग के लिए दिए गए 250 करोड़ के लोन को लेकर केंद्र सरकार से पटना हुडको को इस साल कम से कम 10 करोड़ रुपए डिफॉल्ट कम करने के निर्देश मिले थे। लेकिन विभागीय स्तर पर किए गए सभी प्रयासों के बाद भी मुश्किल से 40 लाख रुपए की रिकवरी संभव हो पाई है। विभाग के अधिकारी ने बताया कि कर्जदार कई नोटिस के बाद भी कर्ज और ब्याज की राशि का भुगतान नहीं चल रहा है। इनमें कई मामले डीआरटी में लंबित है।

नेता और अफसर हैं कर्जदार

राज्य के अलग-अलग हिस्सों में कई नेता और कारोबारियों ने हुडको से 250 करोड़ से भी अधिक लोन ले रखा है। इन कारोबारियों में 90 परसेंट लोगों ने कोल्ड स्टोरेज खोला है। 2 दशक में हुडको द्वारा तय किश्त जमा नहीं होने से करीब 130 करोड़ का कर्ज 250 करोड़ से अधिक पहुंच गया। कर्जदारों को लोन लौटाने के लिए हुडको ने कई नोटिस जारी किए। लेकिन कोई असर नहीं होने से मामला लोन वसूली प्राधिकरण तक पहुंच गया है।

एजेंसी द्वारा दिए गए लोन की रिकवरी के लिए लगातार प्रयास किया जा रहा है। कुछ मामलों के डीआरटी में पेंडिंग होने की वजह से कर्ज की वसूली नहीं हो पा रही है।

-थॉमस एंटोनी टी, क्षेत्रीय प्रमुख, हुडको पटना