ं- 10 हजार करोड़ से अधिक का प्लान लेकर खड़ा किया नेटवर्क

- देश के कई राज्यों में फैला नेटवर्क, बिहार में होती है शराब की सप्लाई

PATNA : प्रदेश में शराबबंदी के बाद एक रईस बन गया। ऐसा रईस जिसका नेटवर्क देश के कई राज्यों में फैला है और इसके सहारे वह सीएम नीतीश के ड्राई स्टेट में शराब की खेप पहुंचा रहा है। हरियाणा पंजाब और उत्तर प्रदेश के साथ बिहार में काम कर रहा उसका नेटवर्क हर मोड़ पर सरकार को चुनौती देने के लिए तैयार है। एक दो नहीं दर्जनों बार पुलिस ने उसका नेटवर्क तोड़ने का प्रयास किया लेकिन पकड़े जाने के बाद भी उसके गिरोह के सदस्यों ने रईस का नाम तक नहीं लिया। यही कारण है कि आज भी वह गिरफ्त में नहीं आ सका है।

- सीएम तक को दी गई जानकारी

विभाग के एक आला अधिकारी ने शराबबंदी के बाद रिपोर्ट तैयारी की थी जिसमें प्रदेश में क्0 हजार करोड़ के शराब के कारोबार की आशंका जताते हुए सीएम को जानकारी दी थी। अफसर की रिपोर्ट में कई ऐसे प्वाइंट दिए गए थे जिसपर काम किया गया होता तो शराबबंदी कानून को चुनौती देने वाला नेटवर्क ध्वस्त हो गया होता। लेकिन विभाग ने इस पर ध्यान नहीं दिया जिससे कड़े कानून के बाद भी प्रदेश में धड़ल्ले से शराब का धंधा चलता रहा।

- बिहार बॉर्डर पर तैयार किया गया नेटवर्क

सूत्रों की मानें तो उत्पाद विभाग के अफसर ने जिस रईस की बात की थी उसने बिहार बॉर्डर पर अधिक से अधिक जमीन खरीद रखी है और होटल रेस्टोरेंट के साथ लॉज बनाकर लोगों को शराब पिलाने का काम कर रहा है। इसमें हरियाणा और पंजाब के लोगों का भी बड़ा इंवेस्टमेंट है। सूत्रों की मानें शराबबंदी के बाद विभाग में बड़ा उलटफेर नहीं हुआ होता तो शायद इस नेटवर्क को तोड़ा जाना संभव था लेकिन अचानक से अफसरों की कुर्सी बदलते ही मामला ठंडा पड़ गया।

- बड़ी खेप की बरामदगी में चर्चा में आया रईस

पटना और प्रदेश के अन्य सीमावर्ती जिलों में एक दो नहीं कई बार बड़ी खेप बरामद हुई है। इसमें ट्रक से बरामदगी के साथ गोदाम तक का खुलासा हुआ है। फतुहा में गोदाम के साथ साथ एक ट्रक अंग्रेजी शराब पकड़ी गई। लेकिन पुलिस और उत्पाद विभाग इस धंधे के मेन कारोबारी का नाम उगलवाने में सफल नहीं हुए। हर बार चालक और लेबर पकड़े गए लेकिन किसी ने रईस का नाम नहीं लिया।

- सेट है नेटवर्क, नहीं खोलते राज

शराब के अवैध कारोबारियों का नेटवर्क पूरी तरह से गोपनीय रहता है और वह पकड़े जाने के बाद भी मुंह नहीं खोलते हैं। सूत्रों का कहना है कि जब प्रदेश में शराबबंदी लागू हुई तो उसके बाद से ही कारोबारियों ने अपना नेटवर्क खड़ा कर दिया था। सूत्रों की मानें तो इस टीम में ऐसे लोग हैं जो कुछ भी हो जाए नाम नहीं लेते हैं। हाजीपुर एरिया में इसकी पकड़ अधिक है और यहां बाहर से लगातार बड़ी खेप आती है। एक ही ब्रांड की शराब प्रदेश में बार बार पकड़ा जाना भी रईस के नेटवर्क का खुलासा करता है। विभाग के अफसरों का दावा हर बार शराबबंदी कानून का पूरी तरह से कड़ाई के साथ पालन कराने का होता है।