नई दिल्ली (पीटीआई) पूर्व क्रिकेटर कपिल देव को लगता है कि खेल को फिर से शुरू करने की तुलना में युवा पीढ़ी के लिए कोरोना वायरस महामारी के नियंत्रण में आने के बाद स्कूलों और कॉलेजों को फिर से खोलना महत्वपूर्ण है। बता दें कि दुनिया में किसी भी तरह के खेल को फिर से शुरू करने के तत्काल संकेत नहीं हैं। वहीं, 61 वर्षीय कपिल देव का भी मानना है कि खेल को कुछ समय को रोका जा सकता है। कपिल ने यूट्यूब चैनल 'Sports Tak' को बताया, 'मैं बड़ी तस्वीर देख रहा हूं। क्या आपको लगता है कि क्रिकेट एकमात्र ऐसा मुद्दा है जिसके बारे में हम बात कर सकते हैं? मैं उन बच्चों के बारे में चिंतित हूं जो स्कूलों और कॉलेजों में नहीं जा पा रहे हैं क्योंकि वह हमारी युवा पीढ़ी है। इसलिए, मैं चाहता हूं कि स्कूल पहले फिर से खुलें। क्रिकेट और फुटबॉल बाद में शुरू हो सकते हैं।'

भारत-पाक के बीच मैच के पक्ष में नहीं है कपिल

पूर्व खिलाड़ी ने एक बार फिर यह कहा कि वह कट्टर प्रतिद्वंद्वी भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय सीरीज के पक्ष में नहीं हैं। बता दें कि इस सीरीज के बारे में पाकिस्तान के पूर्व तेज गेंदबाज शोएब अख्तर ने सुझाव दिया था ताकि महामारी से निपटने के लिए धन जुटाया जा सके। कपिल ने कहा कि अगर पाकिस्तान भारत के साथ क्रिकेट को फिर से शुरू करने के लिए बेताब है, तो वह पहले सीमा पर भारत विरोधी गतिविधियों को बंद कर दे। इसके बजाय उस पैसे को वह नेक कामों में खर्च करे।

स्कूल और अस्पताल बनाने में खर्च करें पैसा

कपिल ने आगे कहा, 'आप भावुक हो सकते हैं और कह सकते हैं कि हां, भारत और पाकिस्तान को मैच खेलना चाहिए। मैच खेलना फिलहाल प्राथमिकता नहीं है। यदि आपको धन की आवश्यकता है, तो आपको सीमा पर गतिविधियों को रोकना चाहिए। इसमें जो पैसा खर्च होता है, उसका इस्तेमाल अस्पताल और स्कूल बनाने में किया जा सकता है। अगर हमें वास्तव में पैसे की जरूरत है तो हमारे पास बहुत सारे धार्मिक संगठन हैं, उन्हें आगे आना चाहिए। यह उनकी जिम्मेदारी है। जब हम धार्मिक तीर्थस्थलों पर जाते हैं तो हम बहुत कुछ देते हैं, इसलिए उन्हें सरकार की मदद करनी चाहिए।'

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