डाॅ. त्रिलोकीनाथ (ज्योतिषाचार्य और वास्तुविद)। Dainik Panchang 7 April 2021 बुधवार को एकादशी 26:29:48 तक तदोपरान्त द्वादशी तिथि है। एकादशी तिथि के स्वामी विश्वदेव जी हैं तथा द्वादशी तिथि के स्वामी भगवान विष्णु जी हैं। एकादशी तिथि के स्वामी विश्वदेव जी हैं तथा द्वादशी तिथि के स्वामी भगवान विष्णु जी हैं। बुधवार के दिन गणेश भगवान की पूजा करने का विशेष महत्व होता है। आज के दिन शरीर पर तेल लगाने से माँ लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं। एकादशी तिथि में चावल एवं सेम नहीं खाना चाहिए यह तिथि उपवास, धार्मिक कृत्य उद्यापन तथा कथा एकादशी में शुभ है। दिन का शुभ मुहूर्त, दिशाशूल की स्थिति, राहुकाल एवम् गुलिक काल की वास्तविक स्थिति के बारे में जानकारी आगे दी गई है।

07 अप्रैल 2021 दिन- बुधवार का पंचाग

सूर्योदयः- प्रातः 05:45:55

सूर्यास्तः- सायं 06:14:09

विशेषः- बुधवार के दिन गणेश भगवान की पूजा करने का विशेष महत्व होता है। आज के दिन शरीर पर तेल लगाने से माँ लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं।

विक्रम संवतः- 2077

शक संवतः- 1942

आयनः- दक्षिणायन

ऋतुः- बसंत ऋतु

मासः- चैत्र माह

पक्षः- कृष्ण पक्ष

तिथिः- एकादशी 26:29:48 तक तदोपरान्त द्वादशी तिथि

तिथि स्वामीः- एकादशी तिथि के स्वामी विश्वदेव जी हैं तथा द्वादशी तिथि के स्वामी भगवान विष्णु जी हैं।

नक्षत्रः- घनिष्ठा 27:33:00तक तदोपरान्त शतभिषा नक्षत्र

नक्षत्र स्वामीः- घनिष्ठा नक्षत्र के स्वामी मंगल देव हैं तथा शतभिषा नक्षत्र के स्वामी राहु देव जी हैं।

योगः- साध्य 14:28:06 तक तदोपरान्त शुभ

दिशाशूलः- बुधवार को उत्तर दिशा में जाना अशुभ होता है यदि आवश्यक हो तो घर से धनियां या तेल खाकर निकलें।

गुलिक कालः- शुभ गुलिक काल 10:48:00 A.M से 12:23:00 P.M बजे तक।

राहुकालः- राहुकाल 12:23:00P.M से 01:58:00 P.M बजे तक।

तिथि का महत्वः- एकादशी तिथि में चावल एवं सेम नहीं खाना चाहिए यह तिथि उपवास, धार्मिक कृत्य उद्यापन तथा कथा एकादशी में शुभ है।

“हे तिथि स्वामी, दिन स्वामी, योग स्वामी, नक्षत्र स्वामी आप पंचांग का पाठन करने वालों पर अपनी कृपा दृष्टि बनाये रखना।”