मेलबर्न (पीटीआई)। अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) 2023 से चार दिवसीय टेस्ट को विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के हिस्से के रूप में अनिवार्य कर सकती है। यह इसलिए किया जा रहा ताकि व्यस्त क्रिकेट कैलेंडर को थोड़ा खाली किया जा सके। आईसीसी की क्रिकेट समिति औपचारिक रूप से 2023-2031 सीजन के लिए पांच दिनों तक खेले जाने वाले टेस्ट को घटाकर चार दिन का कर देगी। रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि यदि 2015-2023 के बीच चार दिनी टेस्ट खेले जाते तो कैलेंडर में करीब 335 दिन खाली हो सकते थे।

2017 में खेला गया था पहला मैच

क्रिकेट के सबसे बड़े फाॅर्मेट में एक दिन घटाना कोई नया नहीं है। इससे पहले साल की शुरुआत में इंग्लैंड और अायरलैंड के बीच चार दिन का टेस्ट खेला गया था। वहीं 2017 में भी साउथ अफ्रीका और जिंबाब्वे ने भी एक-एक टेस्ट चार दिन वाला खेला था। क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया के प्रमुख केविन रॉबर्ट्स को लगता है कि चार दिवसीय टेस्ट पर निश्चित रूप से विचार किया जाना चाहिए। रॉबर्ट्स ने एसईएन रेडियो को बताया, "यह कुछ ऐसा है जो हमें इस सप्ताह गंभीरता से विचार करने के लिए मिला है। यह कुछ ऐसा है जिसे भावनाओं से नहीं चलाया जा सकता है, लेकिन इसे तथ्य से संचालित करने की आवश्यकता है। हमें यह देखने की जरूरत है कि अतीत में टेस्ट मैचों की औसत लंबाई क्या है। समय और ओवर के संदर्भ में यह काफी मायने रखता है।'

अब 2023 से होगी शुरुआत

राबर्ट्स की मानें तो वह इस नए प्रयोग को तय शेड्यूल मैचों में नहीं देख रहे। मगर 2023 के बाद यह पूरी तरह से लागू हो जाएगा। हम जो करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, वह सभी आईसीसी सदस्यों के साथ काम कर रहा है - कोई भी यह नहीं कह रहा है कि यह आसान है लेकिन हम जो कर रहे हैं वह इसे समग्र रूप से देख रहा है और हम ऐसा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

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