अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति का आरोप है कि भारतीय ओलंपिक एसोसिएशन के चुनावों में गत दो वर्षों से भारत सरकार का हस्तक्षेप रहा है.

इस स्थिति से निबटने के लिए आईओए अपने दो प्रतिनिधियों को आईओसी के स्विटज़रलैंड स्थित मुख्यालय लुज़ान भेज रही हैं.

आईओए के नवनिर्वाचित अध्यक्ष अभय चौटाला ने बीबीसी से बातचीत में बताया कि आईओए के निलंबन संबंधी तमाम ख़बरें केवल अफ़वाहें है.

अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) ने सोमवार को भारतीय ओलंपिक एसोसिएशन (आईओए) को लिखिति में सूचित किया कि वो मौजूदा स्थिति में सुधार नहीं होने की दशा में 4-5 दिसम्बर को होने वाली अपने कार्यकारी बोर्ड की बैठक में आईओए को निलंबित करने का प्रस्ताव रखेगी.

आईओसी का कहना है कि वह दो वर्ष से अधिक समय से, आईओए की चुनाव प्रक्रिया में सरकार के दखल के बारे में गहरी चिंता जताता रहा है.

आईओसी ने आईओए के हालिया चुनाव उसके संवैधानिक दिशा-निर्देशों और ओलंपिक चार्टर की बजाए सरकारी नियमों के हिसाब से होने की खबरों पर भी चिंता जताई है.

आईओसी ने चेतावनी दी है कि वह इस दशा में आईओए के चुनाव नतीजों को मान्यता नहीं देगा. आईओसी का ये भी कहना है कि वह अपने इस रूख से सम्बद्ध पक्षों को पहले ही अवगत करा चुका है, लेकिन आईओए इन लंबित मुद्दों का समाधान संतोषजनक तरीके से नहीं कर सका.

आईओसी का कहना है कि आईओए ने उसके साथ सूचनाओं का आदान-प्रदान भी नहीं किया, इन तमाम कारणों से आईओए पर निलंबन का खतरा मंडरा रहा है जिसके बारे में आईओसी की कार्यकारी बोर्ड की बैठक में विचार-विमर्श किया जाएगा.

 

International News inextlive from World News Desk