रांची (ब्यूरो): केंद्र सरकार के विश्र विभाग ने अपनी सैद्धांतिक सहमति दे दी है। एशियाई विकास बैंक (एडीबी) इसमें लगभग 1280 करोड़ खर्च करने के लिए करार किया है। शेष 4000 करोड़ की योजनाओं के क्रियान्वयन पर काम चल रहा है। इसमें 2800 करोड़ एडीबी खर्च करेगा। बाकी 1200 करोड़ रुपए राज्य सरकार का अंशदान है। एडीबी विश्व के 65 देशों में शहरी विकास में अहम भूमिका निभा रही है। इसके अनुभवों का भी लाभ झारखंड के शहरी विकास के कार्यों में मिलेगा। झारखंड के लिए यह गौरव की बात है कि देश के चयनित पांच राज्यों में झारखंड को भी एडीबी का स्ट्रेटजिक पार्टनर बनाया गया है।

किया था झारखंड का दौरा

एडीबी की फिलीपींस से आयी मिशन टीम ने हाल में झारखंड का दौरा किया था। एडीबी के दौरे के क्रम जुडको की वाह्य संपोषित परियोजना शाखा भी शामिल थी। एडीबी की मिशन टीम ने शहरी विकास की संभावना पर समग्र विचार विमर्श किया। साथ ही झारखंड में एडीबी की सहायता से जुडको द्वारा क्रियान्वित की जा रही परियोजनाओं पर संतोष व्यक्त किया। फिलहाल राज्य में 1280 करोड़ की परियोजनाएं एडीबी और राज्य के सहयोग से चल रही है। इसमें रांची फेज 2ए शहरी जलापूर्ति योजना, हुसैनाबाद शहरी पेयजलापूर्ति येाजना और झुमरीतिलैया शहरी पेयजलापूर्ति योजना शामिल हैं। इसके अलावा मेदिनीनगर शहरी पेयजलापूर्ति योजना 165.80 करोड़, झुमरी तिलैया शहरी जलापूर्ति योजना 146.33 करोड़ तथा रांची फेज 2सी 66 करोड़ की योजना निविदा की प्रक्रियाधीन है।

परियोजनाओं के बारे में जानकारी दी

इसके अलावा एडीबी की सहायता से शहरी पेयजलापूर्ति के अलावा सिवरेज-ड्रेनेज, सेप्टेज शहरी नियोजन सुघार, क्षमता संवद्र्धन और संस्थागत विकास का काम होगा ही शहरी आधारभूत संरचना के विकास का भी काम होगा। साथ ही राज्य में जितने भी नगर निकाय हैं उनके सभी कोषांगों को प्रशिक्षित करने का भी काम होगा। एडीबी की मिशन टीम में टीम लीडर जेमिन नैम, पर्यावरण विशेषज्ञ नोमी वालिकान, सामाजिक विशेषज्ञ स्वाति घोष वलियापा, काली शंकर घोष, विश्र विशेषज्ञ कृष्णेंदु सरकार तथा एलविन जेन तिरानो और संजय मालू शामिल थे। एडीबी ने नगर विकास सचिव विनय कुमार चौबे और सूडा निदेशक अमित कुमार से मुलाकात कर परियोजनाओं के बारे में जानकारी दी। एडीबी के साथ विचार विमर्श में जुडको के परियोजना निदेशक तकनीकी रमेश कुमार, परियोजना निदेशक प्रशासन अरविंद कुमार मिश्र, परियोजना निदेशक विश्र अमित चक्रवर्ती और उप परियोजना निदेशक उत्कर्ष मिश्र शामिल हुए।

राज्य के शहरी विकास के लिए नगर विकास विभाग संकल्पबद्ध है। इसमें शहरी पेयजलापूर्ति सरकार की प्राथमिकता है। एडीबी एवं राज्य सरकार के सहयोग से यह कार्य प्रगति पर है। राज्य के सभी शहरी निकायों में प्राथमिक सुविधाएं उपलब्ध कराने पर काम चल रहा है।

- विनय कुमार चौबे, सचिव, नगर विकास एवं आवास विभाग, झारखंड सरकार