रांची (ब्यूरो): झारखंड में महिंद्रा इलेक्ट्रिक, ओकाया बैटरी समेत कई कंपनियों ने इलेक्ट्रिक व्हीकल प्लांट, बैटरी प्लांट और चार्जिंग स्टेशन लगाने की इच्छा जताई है। इन कंपनियों ने राज्य सरकार के इलेक्ट्रॉनिक्स व्हीकल पॉलिसी के प्रस्ताव को देखकर इंटरेस्ट दिखाया है।

10 से 50 एकड़ जमीन

कंपनियों ने राज्य में प्लांट लगाने के लिए 10 से 50 एकड़ जमीन की मांग उद्योग विभाग से की है। यह प्रस्ताव उद्योग विभाग को 7 सितंबर से 9 सितंबर तक ग्रेटर नोएडा में आयोजित भारत के सबसे बड़े इलेक्ट्रिक वाहनों के एक्सपो में दिया है।

इलेक्ट्रिक वाहन नीति मंजूर

इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2021 को झारखंड में मंजूरी मिल चुकी है। इलेक्ट्रिक वाहनों को सडक़ों पर चलाने के लिए इससे संबंधित आधारभूत संरचना का निर्माण भी तेजी से किया जाएगा। अभी तक तक राज्य में इलेक्ट्रिक वाहनों को चार्ज करने के लिए कही पर भी चार्जिंग स्टेशन नहीं बने हुए हैं, इसे बनाने के लिए कई कंपनियां आगे आ रही हैं।

सीएम का पहले ही ऑफर

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने टाटा समूह, हुंडई मोटर्स, होंडा, मारुति सुजुकी समेत अन्य वाहन बनाने वाली बड़ी कंपनियों के साथ मुलाकात की और उनसे झारखंड इलेक्ट्रिक वाहन नीति 2021 के तहत राज्य में निवेश के लिए ऑफ र भी दिया है। प्रदेश में इलेक्ट्रिक वाहन के मैन्युफैक्चरिंग प्लांट बड़े स्तर पर लगाए जाएं, वाहन निर्माता कंपनियों को सरकार ने कई प्रकार की छूट व सुविधाओं की भी पेशकश की है। निर्माता कंपनियों को कई प्रकार छूट दिए जाएंगे।

इलेक्ट्रिक वाहन नीति

प्रदूषण को कम करने के लिए प्रदूषण मुक्त बैटरी चालित वाहनों की बिक्री और इस्तेमाल को इलेक्ट्रिक वाहन नीति बढ़ावा देती है। साथ ही इन वाहनों के सफल संचालन के लिए बुनियादी ढांचे के विकास के लिए सब्सिडी की भी व्यवस्था करनी है, चार्जिंग स्टेशन लगाने में भी सब्सिडी की व्यवस्था कई राज्यों ने की है।

कंपनियों को कई छूट

इलेक्ट्रिक व्हीकल निर्माता कंपनियों को सरकार ने इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी के तहत कई तरह की छूट का प्रावधान किया है। ईवी नीति के तहत सरकार कंपनियों को स्टांप शुल्क और पंजीकरण शुल्क में पूरी तरह छूट देने के अतिरिक्त और भी कई तरह की सुविधाएं देने का वादा की है। झारखंड औद्योगिक क्षेत्र विकास प्राधिकरण के तहत सरकार ने 50 परसेंट जमीन उपलब्ध करवाने का वादा किया है। यदि कंपनियां ईवी नीति के तहत 2 वर्ष के भीतर निवेश का वादा करें तो उन्हें उपरोक्त सभी लाभ झारखंड सरकार द्वारा दिए जाएंगे। इसके साथ ही वाहन पंजीकरण शुल्क और रोड टैक्स से पूर्ण छूट का प्रस्ताव भी सरकार ने कंपनियों को दिया है।