RANCHI: लैंड पुलिंग स्कीम के तहत राजधानी को खूबसूरत बनाया जाएगा। झारखंड में शहरीकरण को बढ़ावा देने के लिए लैंड पुलिंग व्यवस्था लागू की जाएगी। नगर विकास एवं आवास विभाग की ओर से क्षेत्रीय विकास प्राधिकार संशोधन अध्यादेश 2020 लाया जा रहा है। राज्यपाल की सहमति मिलते ही इसे लागू कर दिया जाएगा। लैंड पूलिंग से शहर को व्यवस्थित बनाया जाएगा। इस व्यवस्था में सड़क, पार्क, लैंडफिल, साइट, आवास, फ्लैट सहित कई तरह के इंफ्रास्टरकचर का विकास किया जा सकेगा।

क्या है लैंड पुलिस स्कीम

लैंड पुलिंग व्यवस्था लागू होने के बाद मालिकों की छोटी-छोटी जमीन के टुकड़ों को एकत्र करके शहर का विकास किया जाएगा। जमीन मालिक शहर के विकास के लिए अपनी जमीन स्वेच्छा से भी दे सकते हैं। सरकार इसका विकास करके उनकी सहमति से वापस भी दे देगी या वो अपनी मर्जी से सरकार को भू अर्जन कानून के तहत मुआवजा भी दे सकेंगे। इसके अनुसार किसी भी चीज को डेवलप करने में सरकारी एजेंसी या निजी डेवलपर जितने भी लोगों की जमीन लेंगे, उनसे सहमति से लेंगे। जिन जमीन के लिए सहमति नहीं बनेगी, वहां लैंड एक्विजिशन एक्ट के तहत जमीन लेकर उसका मुआवजा दिया जाएगा।

आपको क्या करना है

यदि किसी भी जमीन मालिक के पास बड़ी जमीन है और वह चाहते हैं कि उनकी जमीन को विकसित किया जाए, लेकिन उन लोगों में आपसी मतभेद हो तो ऐसे में वह क्षेत्रीय प्राधिकार के पास पहुंचकर अपनी जमीन विकसित करने की बात कर सकते हैं या प्राधिकार एरिया के विकास के लिए उनके पास खुद जाएगा। इसके बाद प्राधिकार उनकी सहमति लेकर उनकी जमीन को विकसित करने का ड्राफ्ट तैयार करेगा, जिसमें आधारभूत संरचना के अलावा सड़क, बिजली, पानी, सीवरेज ड्रेनेज प्लान तैयार किया जाएगा। प्राधिकार सिर्फ प्लान ही नहीं करेगा, बल्कि बाकी योजनाओं का क्रियान्वयन भी करेगा।

प्रॉपर्टी वैल्यू भी बढ़ेगी

लैंड पुलिंग स्कीम के तहत अगर किसी भी जमीन को लिया जाता है तो सरकार या प्राइवेट डेवलपर इसको डेवलप करेंगे। वहां पर पानी, बिजली, सड़क सहित सभी तरह की चीजों को डेवलप किया जाएगा। इतनी सारी व्यवस्थित जगह होने के बाद वहां की प्रॉपर्टी वैल्यू भी बढेगी। अभी जिस प्रॉपर्टी की जो वैल्यू है उसके दाम में 30 से 40 परसेंट तक बढ़ोतरी हो जाएगी।

मेट्रो सिटी में सफल रहा स्कीम

लैंड पुलिंग स्कीम मेट्रो सिटीज में सफल रहा है। दिल्ली, मुम्बई और गुजरात जैसे शहरों में यह व्यवस्था कई सालों से चल रही है। इन शहरों में प्राइवेट जमीन को भी सरकार और प्राइवेट डेवलपर मिलकर उसे डेवलप करते हैं, और उस जमीन पर सभी तरह के बेसिक इंफ्रास्ट्रक्चर को डेवलप करते हैं। इससे शहर के हर इलाके में लोगों को बेहतर सुविधाओं के लिए जो भी जरूरी चीजें हैं, वो उपलब्ध रहती हैं।