RANCHI: श्री कृष्ण प्रणामी सेवा समिति की ओर से आयोजित होने वाले श्रीमद्भागवत कथा के शुरुआत शोभायात्रा से हुई। दोपहर एकबजे बड़े ही धूमधाम से यह शोभायात्रा निकाली गई। श्रीमद्भागवत कथा एवं कलश का विधिवत पूजन के बाद गुरुजी स्वामी श्रीसदानन्दजी महाराज के सानिध्य में कलश शोभायात्रा शुरू हुई। इसमें सैकड़ों श्रद्धालु शामिल हुए। इससे पहले शिवगंज स्थित सत्संग भवन पर गुरुजी स्वामी श्रीसदानन्द जी महाराज का स्वागत किया गया। सेवा सदन रोड स्थित श्रीलक्ष्मी नारायण मंदिर से शोभायात्रा की शुरुआत हुई। यह यात्रा अलग-अलग सड़कों से होते हुए अग्रसेन पथ स्थित महाराजा अग्रसेन भवन पहुंच कर संपन्न हुई। कथा के यजमान गीता सोनी माथे पे मुख्य कलश एवं विष्णु सोनी माथे पर श्रीमद्भागवत लेकर चल रहे थे। श्रद्धालु अपने हाथों में ध्वज और माथे पर कलश लेकर आगे बढ रहे थे। वहीं आगे-आगे चल रही भजन मंडलियों के भजनों पर झूमते-गाते भक्त ने माहौल भक्तिमय बना दिया। इधर, कथा स्थल को वृन्दावन धाम की तरह सजाया गया था।

हर समय करें प्रभु का सुमिरन

कथा के पहले दिन स्वामी श्रीसदानन्दजी महाराज ने भक्ति का अर्थ बताते हुए कहा कि परमात्मा का सुमिरन हर समय करना चाहिए। प्रेम का अर्थ बताते हुए स्वामी जी ने कहा कि हर किसी को अपने से बड़ों की इज्जत और छोटों को प्यार देना चाहिए। अनाथ बच्चों, गरीबों, बुजुर्गो की भी सेवा करनी चाहिए। कार्यक्रम के आयोजन में डुंगरमल अग्रवाल, मनोज चैधरी, निर्मल जालान, राजू अग्रवाल, बसंत कुमार गौतम, प्रमोद सारस्वत समेत अन्य सदस्यों ने प्रमुख योगदान दिया।