सच ही कहा जाता है कि ऊपर वाले की लाठी में आवाज में नहीं होती है। शायद ऐसा ही कुछ हुआ इस्लामिक स्टेट के 45 आतंकियों के साथ। जी हां रोजा खोलने के समय जहरीला खाना से इराक के मोसुल शहर में इन आतंकियों की मौत हो गई है। कुर्दिश डेमोक्रेटिक पार्टी ने इस बात की जानकारी देते हुए बताया कि इस रोजा इफ्तारी में करीब 145 आतंकी शामिल हुए थे।


मोसुल में रोजा इफ्तारी पूरी दुनिया में अपने आतंक के बल पहचाने जाने वाले आईएसआईएस के आतंकियों पर खुदा का कहर एक अलग तरीके से बरपा। इराक में बड़ी संख्या में लोगों को मौत के घाट उतारने वाले ये आंतकी कल जहरीला खाना खाने से मारे गए। इस संबंध में कुर्दिश डेमोक्रेटिक पार्टी के प्रवक्ता सईद ममोजेनी का कहना है कि कल इराक के मोसुल में रोजा इफ्तारी का कार्यक्रम रखा गया। ऐसे में शाम को इफ्तारी के समय करीब 145 आतंकी इसमें खाना खाने के लिए शामिल हुए। जिसमें खाना खाना के कुछ देर बाद करीब इन आतंकियों की तबियत बिगड़ गई। देखते ही देखते करीब 45 आतंकियों की मौत हो गई। इस घटना के बाद रोजा इफ्तारी स्थल पर हडंकम्प मच गया।कोई पहला मामला नहीं
इसके साथ ही इस घटना के बारे में उनका कहना है कि इस मामले के बारे में जांच की जा रही है कि आखिर यह खाना जहरीला कैसे हुआ। हलांकि अभी तक कोई खास सबूत नहीं मिले हैं। वहीं सूत्रों की मानें तो जहरीला खाना खाने से आतंकियों की मौत का यहां कोई पहला मामला नहीं है। इससे पहले यहां पर बीते साल 2014 में भी यहां पर बड़ी सख्यां में आईएसआईएस आंतकियों की मौत हो गई थी। उस समय यह मामला सामने आने पर पता चला था कि इस घटना को अंजाम एक कुर्द लड़ाके ने दिया था। जिसने आईएसआईएस के कैंप में उन्हीं के शेफ का भेष बनाकर खाना बनाकर उसमें जहर मिला दिया था।

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Posted By: Shweta Mishra