देखिये कैसे बनता है विराट और धोनी का बल्ला
स्टेप : 1
मेरठ में अधिक बैट इंग्लिश विलो (लकड़ी) से तैयार होते हैं. ये लकड़ी इंग्लैंड से मंगाई जाती है. वैसे कश्मीरी विलो के भी बैट बनाए जाते हैं.
स्टेप : 3
फिर बैट के हैंडल पर काम होता है. बैट का हैंडल के लिए असम की बांस की लकड़ी का इस्तेमाल होता है. उसके चार लेयर्स के बीच में रबर चढ़ाई जाती है. फिर उसे सुखाकर शेप दी जाती है.
स्टेप : 5
उसके बाद का स्टेप उसे प्रॉपर शेप देने की बारी आती है. उसकी घिसाई की जाती है. पूरे बैट का शेप दिया जाता है.
स्टेप : 7
उसके बाद मशीन के थ्रू बैट की बफिंग की जाती है. बफिंग से बैट में फिनिशिंग के अलावा चमक और शेप भी थोड़ी ठीक होती है.
स्टेप : 9
उसके बाद बैट को फाइनल टच के लिए बैंड चढ़ाया जाता है. उसके बाद उसे स्टीकर चढ़ाकर मार्केट और बैट्समेन को भेजे जाते हैं.