मोदी सरकार ने देश में बढ़ते औद्योगिक प्रदूषण को देखते हुए पर्यावरण नियमों को सख्‍त बनाने का फैसला कर लिया है. इस बारे में पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा है कि उनकी सरकार डीजल वाहनों एवं सख्‍त हरित नियमों के पक्षधर हैं.


सरकार व्यवहारिकता से लेगी कामकेंद्र सरकार के मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने आज बताया कि उनकी सरकार देश में पर्यावरण की स्थिति सुधारने के लिए जरूरी कदम उठा रही है. जावड़ेकर सीआईआई के 9वें सतत और समावेशी समाधान शिखर सम्मेलन में बोल रहे थे. उन्होंने कहा "पिछले सप्ताह हमने केवल सीमेंट उद्योग के लिए पर्यावरण नियमों को ज्यादा कड़ा बनाया. मैं भविष्य में सभी उद्योगों के लिए यह करना चाहता हूं.' उन्होंने कहा, 'हम नियमों के साथ आगे बढ़ेंगे और उसका शत प्रतिशत अनुपालन सुनिश्चित करेंगे." इसके साथ ही उन्होनें कहा कि सरकार व्यावहारिक आधार पर लिया जाएगा और नियमों के अनुपालन को सुनिश्चित किया जाएगा. डीजल वाहनों के लिए भी कड़े नियम
जावड़ेकर ने कहा कि पिछले दो दशकों में वाहन प्रदूषण स्तर दोगुना हुआ है. इसलिए सरकार डीजल वाहनों के लिए अलग से नियम बना रही है. इन नियमों से सरकार कार्बन उत्सर्जन को कम करने का प्रयास करेगी. इसके साथ ही जब लोगों ने पूछा कि पेट्रोल और डीजल के कंपेरिजन में डीजल के नियम हल्के क्यों हैं. इस सवाल के जवाब में जावड़ेकर ने कहा कि 'अब हम डीजल वाहनों के लिए कड़े नियमों को भी कुछ पहले लागू सकते हैं. हम कर सकते हैं, हमें करना भी चाहिए. मुझे लगता है कि यह वृद्धि और मजबूती सुनिश्चित करने का मॉडल यही है.'

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Posted By: Prabha Punj Mishra