गुजरात में जेल प्रशासन सुरंग खोदकर भागने वाले कैद‍ियों पर अब श‍िकंजा कसने जा रहा है। बहुत जल्‍द यहां की दो सेन्ट्रल जेलों में हाईटेक टनेल डि‍डेक्‍शन स‍िस्‍टम लगाए जाएंगे। इससे यहां पर कैदियों द्वारा खोदी जाने वाली स‍ुरंगों का पता आसानी से चल जाएगा।

सेंसर जमीन में करीब तीन मीटर नीचे निर्धारित दूरी पर लगाए जाएंगे
अहमदाबाद (प्रेट्र)। जेल के अतिरिक्त महानिदेशक टीएस बिष्ट ने पीटीआई से बात करते हुए बताया कि यहां ब्रिटिश काल की बनी साबरमती केंद्रीय जेल में पांच वर्ष पहले कुछ कैदियों ने सुरंग खोदी थी। मार्च 2013 में जेल अधिकारियों को साबरमती जेल के भीतर 214 फुट लंबी एक सुरंग मिली थी। ऐसे में अब जेल प्रशासन ने ऐसे मामलों पर शिकंजा कसने की पूरी तैयारी कर ली है। गुजरात की दो जेलों साबरमती केंद्रीय जेल और सूरत जिले में लाजपोरे केंद्रीय जेल में हाईटेक टनेल डिडेक्शन सेंसर सिस्टम लगाए जाएंगे। ये सेंसर जमीन के लगभग तीन मीटर नीचे निर्धारित दूरी पर लगाए जाएंगे। इससे ये तीन मीटर ऊपर और तीन मीटर नीचे जमीन में होने वाले वाइब्रेशन और एक्टिविटी का पता लगा लेंगे।  
गुजरात देश का पहला ऐसा राज्य होगा जहां होंगे हाईटेक सेंसर सिस्टम
ऐसे में साफ है कि इन सेंसर से आसानी से जेल के अंदर खुदाई होते ही अधिकारियों के पास एसएमएस पहुंच जाएगा। इससे जेल अधिकारी सुरंग खोदकर भागने के कैदियों के प्रयासों को आसानी से विफल कर सकेंगे। रिपोर्टस के मुताबिक अभी तक देश की जेल में कहीं ऐसी पहल नहीं हुई है। ऐसे में इस हाईटेक सेंसर सिस्टम को लागू करने के बाद गुजरात देश का पहला ऐसा राज्य होगा जहां कि जेलों में यह व्यवस्था होगी। टीएस बिष्ट का कहना है कि अभी केवल सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) इस हाईटेक सेंसर सिस्टम का इस्तेमाल सीमावर्ती इलाकों के नजदीक सुरंगों का पता लगाने के लिए कर रही है। इसके लिए राज्य सरकार की ओर से 2.8 करोड़ रुपये का बजट आवंटित हो गया है।

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Posted By: Shweta Mishra